सरकारी डिस्पेंसरियों पर पीपीसीबी का शिकंजा
जागरण संवाददाता, जालंधर: पंजाब प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड (पीपीसीबी) ने बायोमेडिकल वेस्ट के रखरखाव को लेक
जागरण संवाददाता, जालंधर: पंजाब प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड (पीपीसीबी) ने बायोमेडिकल वेस्ट के रखरखाव को लेकर सरकारी व गैर-सरकारी अस्पतालों के बाद सरकारी डिस्पेंसरियों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। पीपीसीबी ने जिले की सरकारी डिस्पेंसरियों को बायोमेडिकल वेस्ट को लेकर विभाग में पंजीकरण व बायोमेडिकल वेस्ट उठाने वाली कंपनियों के साथ समझौते की कार्रवाई पूरी करने को लेकर नोटिस जारी किए हैं। मामले को लेकर डिस्पेंसरियों के डाक्टरों में अफरा-तफरी मच चुकी है।
पीपीसीबी के एक्सईएन मनोहर लाल चौहान ने बताया की सभी डिस्पेंसरियों को बायोमेडिकल वेस्ट को लेकर नोटिस जारी किए गए हैं। इन्हें जवाब देने के लिए अगले सप्ताह बुलाया गया है।
डिस्पेंसरियों के पास भुगतान के पैसे नहीं
बायोमेडिकल वेस्ट के रखरखाव को लेकर देहात की डिस्पेंसरियों के डाक्टरों ने विभाग से अनुमति लेने के बाद अनुबंध करने की बात कही है। रूरल मेडिकल डॅाक्टर्स एसोसिएशन के प्रधान डॉ. रोहित शर्मा ने बताया की कंपनी बायोमेडिकल वेस्ट उठाने के लिए हर माह 1070 रुपए लेती है। डिस्पेंसरी के खाते में भुगतान के लिए पैसे नहीं है। इस संबंध में एडीसी से बात की गई थी। उन्होंने विभाग के डायरेक्टर से बात कर प्रक्रिया पूरी करने को कहा है। इस मौके पर डॉ. सुरिन्दर कुमार, डॉ. हरीश भारद्वाज के अलावा अर्बन डिस्पेंसरियों के डाक्टर मौजूद थे।
रेनबो व बीएमडब्ल्यू की डॉक्टरों से बैठक, समझौते पर हस्ताक्षर
वहीं वीरवार को सरकारी डिस्पेंसरियों के डाक्टरों के साथ बायोमेडिकल वेस्ट उठाने के मामले को लेकर रेनबो कंपनी मोहाली के मनु मेहता व पठानकोट से बीएमडब्ल्यू से मनमोहन सिंह ने आपसी तालमेल के बाद डाक्टरों के साथ बैठक की। बैठक में सरकारी अर्बन डिस्पेंसरियों सहित टीबी क्लीनिक की टीम ने अनुबंध पर हस्ताक्षर किए।