सरकारें बदलीं पर नही संवर पाई कंडी क्षेत्र की तकदीर
मुनिन्द्र शर्मा, गढ़दीवाला आजादी के बाद कई सरकारें आई और गई लेकिन किसी भी सरकार ने गढ़दीवाला के अध
मुनिन्द्र शर्मा, गढ़दीवाला
आजादी के बाद कई सरकारें आई और गई लेकिन किसी भी सरकार ने गढ़दीवाला के अधीन पडते कंडी क्षेत्र के विकास की ओर ध्यान देने की जरूरत नही समझी। विभिन्न सरकारों की उदासीनता के कारण कंडी हलका आज आधुनिक युग में भी काफी पिछड़ा हुआ है। कंडी हलके के लोगों से झूठे वादे करके इस हलके से जीत कर कई राजनेता सत्ता का सुख भोग कर चलते बने लेकिन कंडी क्षेत्र आज के दौर में भी अपनी बदहाली के लिऐ आंसू बहाने के लिए मजबूर हैं। वर्तमान समय में बेशक सियासी नेता देश मे विकास की दुहाई देकर अपनी राजनीति को चमका रहे है लेकिन हकीकत में विकास की दृष्टि से कंडी क्षेत्र के लोगों के हाथ आज भी खाली के खाली हैं जिनकी दुखती नस को टटोलने वाला शायद कोई नही है।
चार दिन बाद मिल रहा पीने वाला पानी
कंडी विकास मंच के प्रधान करनैल ¨सह ने बताया कि पंजाब सरकार गांवों में लोगों की सुविधा के लिए पीने वाले पानी के ट्यूबवेल लगाने के दावे कर रही है लेकिन हकीकत इससे कोसों दूर हैं। कंडी के लोग पीने वाले पानी की बूंद बूंद को तरस रहे है। गांव थाना, मनहोता, नरूड, खंगबाडी आदि गावों को कई सालो से वाटर सप्लाई का पानी चार दिन के बाद मिलता है। लोग पानी की बूंद बूंद को तरसते हैं लेकिन किसी भी सरकार ने लोगों की इस समस्या का हल आज तक नही किया है।
क्षेत्र में कोई कॉलेज नहीं
गांव थाना के ठाकुर जो¨गद्र ¨सह ने बताया कि कंडी क्षेत्र के लोगों के बच्चों के उज्जवल भविष्य के लिए कोई भी कॉलेज नहीं है इस कारण बच्चों को दूर दराज के कॉलेजों में दाखिला लेने के लिए मजबूर होना पड़ता है जो प्रत्येक के बस की बात नही है। उन्होंने बताया कि कंडी के गांव ढोलवाहा में गर्वमेंट कालेज खुलने की आस बंधी थी लेकिन वह राजनीति की भेंट चढ गया।
जंगली जानवरों से परेशान लोग
कंडी के गांव मनहोता के ब्रह्मानंद गौतम ने बताया कि जंगली जानवरों को मारने पर लगी पाबंदी के कारण कंडी के लोग अपनी जमीनों पर मनचाही फसल की पैदावार भी नही कर सकते। जंगली जानवर व आवारा पशु लोगों की फसलों को बर्बाद कर देते हैं जिससे लोगों का भारी नुकसान होता है। यही कारण है कि कंडी के लोग फसलों को छोड़कर अपनी जमीन पर वृक्ष लगाने में अधिक तवज्जो दे रहे हैं।
नहीं है मेडिकल की सुविधा
गांव कोई के बलबीर ¨सह राणा ने बताया कि कंडी हलके मे कोई भी बड़ा अस्पताल न होने से लोगों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ता है। कंडी हलके के कई गांव ऐसे है जो जिला होशियारपुर से 10 से 25 किलो मीटर की दूरी पर पड़ते हैं। यदि रात को कोई भी व्यक्ति बीमार हो जाए तो ऐसे हालत मे कंडी के लोगों को बहुत दिक्कत का सामना करना पड़ता है। लिहाजा सरकार को लोगो की सुविधा के लिए कंडी हलके में एक बड़ा अस्पताल अवश्य खोलना चाहिए ताकि यहां लोगों को प्रत्येक प्रकार की मेडिकल सुविधाएं मिल सके।
-कंडी के कई गांवों की ¨लक सड़केंखस्ताहाल
सरकार प्रदेश के शहरों व गांवो में सड़को के जाल बिछाने के दावे कर रही है लेकिन कंडी हलके के कई गांव ऐसे भी है जिनको जाने वाली सड़कों की हालत खराब है। कंडी हलके के कई गांव ऐसे भी है जो ¨लक सड़को से वंचित हैं। गांव थाना से देहरीया, गांव मनहोता से गांव ककराली, नरूड से गांव भटला, गांव मनहोता से थाना बाया ़खड्ड, लोअर खंगबाडी से अपर खंगबाडी, कूकानेट से अपर देहरीया आदि की सड़कें खस्ताहाल में है। इसके अलावा कंडी के ओर भी कई गांव ऐसे है जिनको आज भी कच्चा रास्ता जाता है।
-¨सचाई की सुविधा से महरूम हैं कंडी के लोग
किसानों की हितैषी कहलाने वाली बादल सरकार किसानो को ¨सचाई सुविधा देने के दावे तो अवश्य किए गए लेकिन कंडी के लोगों की हजारों एकड़ जमीन ¨सचाई की सुविधा नही होने से बंजर बनती जा रही है। गांव थाना में सरकार ने कंडी के लोगो की ¨सचाई संबधी समस्याओं को हल करने के लिऐ करोड़ों रुपये की लागत से डैम तो बनाया गया लेकिन उसका भी लोगों को व्यापक लाभ नही मिल सका।
-अपनी जमीन से वृक्ष काटने का अधिकार भी नही
कंडी के लोगो के लिए इससे दुर्भाग्य की बात ओर क्या हो सकती है जिनको अपनी ही जमीन से वृक्ष काटने का अधिकार भी नही है। वृक्ष काटने के लिऐ पहले जंगलात विभाग से लाइसेंस बनाने के लिऐ मजबूर होना पड़ता है। जिसके लिए भी लोगों को विभाग के धक्के खाने के लिऐ विवश होना पड़ता है।