आर्ट गैलरी में आर्ट का 'कुंभ'
प्रो. दीप्ति बटाला से इस वर्कशाप में हिस्सा लेने के लिए पहुंची थीं। वह बताती हैं कि उन्हें बचपन से ही आर्ट से शौक रहा है। अमृतसर की इस आर्ट गैलरी में वर्कशाप में हिस्सा लेना आर्टिस्ट के लिए खुशकिस्मती की बात है। यहां आकर बहुत कुछ नया सीखने को मिलता है।
आर्ट में ऊंचा नाम कमा चुके कुलवंत सिंह गिल कहते हैं कि आर्ट गैलरी ने आर्टिस्ट के लिए जो योगदान दिया है उसे शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता। खुशी की बात है कि आर्ट गैलरी समय-समय पर ऐसे आयोजन करती है। आर्ट गैलरी युवा आर्टिस्ट के लिए मार्गदर्शक के तौर पर काम कर रही है।
सीनियर आर्टिस्ट ओपी वर्मा व भूपिंदर एस नंदा कहते हैं कि आर्ट गैलरी से मैं वर्षो से जुड़ा हूं। यहां पर देश का शायद ही कोई बड़ा आर्टिस्ट हो जिसकी पेंटिंग प्रदर्शनी न लगाई गई हो।
गुलशन सदाना, अतुल मेहरा व अश्विनी वर्मा कहते हैं कि आर्ट गैलरी आर्ट का मंदिर है। समय-समय पर आर्ट गैलरी कला के प्रचार, प्रसार के लिए ऐसे आयोजन करती है, जिससे आर्ट को बढ़ावा मिलता है।
रविवार शाम को आर्ट गैलरी में चल रही वर्कशाप का समापन भाजपा नेता व खालसा कालेज गवर्निग कौंसिल के सेक्रेटरी व आर्ट गैलरी के पदाधिकारी राजिंदर मोहन सिंह छीना ने किया। वह कहते हैं कि आर्ट गैलरी हमेशा आर्ट को प्रफुल्लित करने के लिए आगे रही है और सदैव रहेगी। आर्ट वर्कशाप में प्रो. भारत भूषण भारती, डा. जसपाल सिंह, अश्विनी कुमार वर्मा, मिस इंदु सुधीर, गुलशन कुमार सदाना, ओपी वर्मा, जसमीत बराड़, मुकेश शर्मा, प्रो. दीप्ति कांडा, अजीत सिंह जब्बल, केएस मनचंदा, प्रो. सुभाष चन्द्र, डा. ललित गोयल, ललित गोपाल प्रभाकर, प्रो. जीवन बाला, डा. गोपाल किरोड़ीवाल, भूपिंदर सिंह नंदा, कुलवंत सिंह गिल, धर्मवीर शर्मा व संजय कुमार उपस्थित हुए।
पिंगलवाड़ा के बच्चे देखने पहुंचे वर्कशाप
पिंगलवाड़ा के कुछ बच्चे (मूक व बधिर) आर्ट गैलरी में चल रही वर्कशाप देखने के लिए पहुंचे। नानक, सागर व काजल तीनों बच्चे बेहतर आर्टिस्ट हैं। वह आर्ट की बारीकियां देखने के लिए आर्ट गैलरी में अपनी टीचर निशा के साथ पहुंचे। तीनों बच्चे घंटों तक पेंटिंग देखते रहे।
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