विश्वनाथ मंदिर: टूटी परंपरा, रुकी आरती
काशी विश्वनाथ मंदिर में गुरुवार को पुजारी व पर्यवेक्षक के मध्य मारपीट के चलते परंपरा टूटी और रात नौ बजे शुरू होने वाली श्रृंगार भोग आरती एक घंटे विलंब से रात दस बजे शुरू हुई।
वाराणसी। काशी विश्वनाथ मंदिर में गुरुवार को पुजारी व पर्यवेक्षक के मध्य मारपीट के चलते परंपरा टूटी और रात नौ बजे शुरू होने वाली श्रृंगार भोग आरती एक घंटे विलंब से रात दस बजे शुरू हुई। मंदिर के पुजारी पं. श्रीकांत मिश्र व सफाई पर्यवेक्षक योगेन्द्र गर्ग के मध्य विवाद रात 8.45 बजे गर्भगृह में तब शुरू हुआ जब श्रृंगार भोग आरती की तैयारी चल रही थी। नियमत: आरती की तैयारी शुरू होने के दौरान गर्भगृह में श्रद्धालुओं का प्रवेश बंद हो जाता है।
भोग आरती की तैयारी के समय गर्भगृह में पं.श्रीकांत मौजूद थे तभी सफाई पर्यवेक्षक योगेन्द्र गर्ग ने गर्भगृह में प्रवेश करने की कोशिश की। पुजारी श्रीकांत के मना करने पर योगेन्द्र ने यह कहकर अंदर प्रवेश करना चाहा कि वह पर्यवेक्षक होने के नाते वहां सफाई व्यवस्था का मुआयना करने आए हैं। पुजारी व पर्यवेक्षक के मध्य विवाद इतना बढ़ा कि दोनों में हाथापाई शुरू हो गई। इस दौरान पुजारी श्रीकांत की नाक पर चोट लगने से रक्तस्नाव होने लगा। यह देख अन्य पुजारी भी उत्तेजित हो गए। बाद में पुजारी लामबंद होकर रानी भवानी मंदिर में एकत्र हुए और पर्यवेक्षक के खिलाफ कार्रवाई की मांग करने लगे। इस दौरान पुजारियों व पर्यवेक्षक के बीच आरोप प्रत्यारोप का दौर देर तक चला। दोनों पक्ष एक-दूसरे को दोषी ठहराते रहे।
सूचना मिलने पर आरती पर्यवेक्षक प्रो. देवीप्रसाद द्विवेदी, एसपी सुरक्षा श्रीपति मिश्र व अपर कार्यपालक अधिकारी पारस नाथ द्विवेदी भी वहां पहुंचे। पुजारियों को मनाने का दौर रात 9.40 बजे तक चलता रहा। प्रो.देवीप्रसाद व एसपी द्वारा कार्रवाई के आश्वासन के बाद पुजारी आरती को तैयार हुए। इस तरह एक घंटे विलंब से 10 बजे श्रृंगार भोग आरती शुरू हुई। एसपी सुरक्षा ने कहा कि सीसीटीवी से पता चलेगा कि किसने हाथ उठाया। आरती के विलंब से शुरू होने के बाद उसे संक्षिप्त कर दिया गया। समाचार लिखे जाने तक सभी पुजारी मंदिर परिसर में इस मांग को लेकर बैठे थे कि सफाई पर्यवेक्षक को हटाया जाए।
मोबाइल पर ताजा खबरें, फोटो, वीडियो व लाइव स्कोर देखने के लिए जाएं m.jagran.com पर