120 साल पुराना है चंद्रपुरा मिशन का इतिहास
काठीकुंड में स्थित चंद्रपुरा मिशन का निर्माण 1880 में अंग्रेज मिशनरी वैनर वोल्डर कराया था। इस चर्च का इतिहास 120 साल पुराना है। बाद में 1918 में यहां अंग्रेजों द्वारा गिरजाघर का निर्माण कराया गया।
काठीकुंड [दुमका]। काठीकुंड में स्थित चंद्रपुरा मिशन का निर्माण 1880 में अंग्रेज मिशनरी वैनर वोल्डर कराया था। इस चर्च का इतिहास 120 साल पुराना है। बाद में 1918 में यहां अंग्रेजों द्वारा गिरजाघर का निर्माण कराया गया। चर्च के वर्तमान पादरी बुद्धिनाथ मरांडी ने बताया कि चंद्रपुरा मिशन में 1918 तक तत्कालीन पादरी सुना मुर्मू ने प्रार्थना सभा व मिशन का संचालन किया था। इस मिशन में एक हजार से अधिक श्रद्धालु सामूहिक प्रार्थना सभा में भाग लेते हैं। श्री मरांडी ने कहा कि दुमका डायसिस से संचालित चंद्रपुरा मिशन के अंतर्गत लड़कियों के लिए मार्था मरियम विद्यालय संचालित किया जा रहा है जिसमें लड़कियों को स्वस्थ, शिक्षा,आत्मनिर्भर बनाने के साथ ही बाइबिल की शिक्षा देकर इन्हें जागरूक किया जाता है। यहां दूर-दराज से आकर लड़कियां शिक्षा ग्रहण करते हैं। बच्चों को यहां बाइबिल की शिक्षा देने के साथ-साथ सामाजिक दायित्वों की जानकारी दी जाती है। पादरी बुद्धिनाथ ने कहा कि व्यक्ति किसी को सच्चे दिल से प्यार करता है तो उसे जीवन में बहुत कुछ त्याग करना पड़ता है।
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