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ब्रिटेन के चुनाव : यूं पड़ी गुरुवार को वोटिंग की परंपरा

ब्रिटेन में गुरुवार को ही चुनाव कराए जाने की परंपरा है। कई परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए यह दिन तय किया गया है। मसलन - पहले हर शुक्रवार को मजदूरी (पे पैकेट) बांटी जाती थी। माना गया कि पैसा मिलते ही लोग शराब पीने लगेंगे और सप्ताहांत के दिनों

By manoj yadavEdited By: Published: Tue, 05 May 2015 06:50 PM (IST)Updated: Tue, 05 May 2015 06:54 PM (IST)
ब्रिटेन के चुनाव : यूं पड़ी गुरुवार को वोटिंग की परंपरा

मल्टीमीडिया डेस्क। ब्रिटेन में गुरुवार को ही चुनाव कराए जाने की परंपरा है। कई परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए यह दिन तय किया गया है। मसलन - पहले हर शुक्रवार को मजदूरी (पे पैकेट) बांटी जाती थी। माना गया कि पैसा मिलते ही लोग शराब पीने लगेंगे और सप्ताहांत के दिनों में वोट नहीं कर पाएंगे। चुनाव वाला दिन रविवार से जितना दूर हो सकता था, तय किया गया, ताकि रविवार को होने वाली सभाओं का प्रभाव मतदाताओं पर न रहे।

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कई नगरों में साप्ताहिक बाजार लगते थे, जिनके कारण लोगों को यहां-वहां आना-जाना पड़ता था। इस कारण गुरुवार को चुना गया। 2011 में पास हुए फिक्स्ड-टर्म पार्लियामेंट एक्ट में तय हुई है कि ब्रिटेन में भविष्य के सभी चुनाव मई के पहले हफ्ते के गुरुवार को ही होंगे। सुबह सात बजे से रात दस बजे तक मतदान होता है।

[साभार-नई दुनिया]


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