सीमा पर पहुंच अमेरिकी उपराष्ट्रपति ने उत्तर कोरिया को चेताया
पेंस रविवार को सियोल पहुंचे थे। इसी दिन उत्तर कोरिया ने मिसाइल का परीक्षण किया था। हालांकि यह सफल नहीं रहा।
सियोल, रायटर/एएफपी । अमेरिकी उपराष्ट्रपति माइक पेंस सोमवार को उत्तर कोरिया की सीमा पर पहुंचे। उन्होंने कहा कि उत्तर कोरिया को लेकर धैर्य रखने का अमेरिकी दौर समाप्त हो चुका है। अब यदि उसने मिसाइल या परमाणु परीक्षण किया तो उसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सीरिया और अफगानिस्तान में हमला कर अमेरिका ने संकेत दे दिया है कि इस समस्या का कैसे समाधान संभव है।
पेंस रविवार को सियोल पहुंचे थे। इसी दिन उत्तर कोरिया ने मिसाइल का परीक्षण किया था। हालांकि यह सफल नहीं रहा। इसके अगले ही दिन पेंस ने सैन्य सीमा रेखा (डीएमजेड) से सटे भारी सैन्य जमावड़े वाले पानमुनजोम गांव तक पहुंच कर उत्तर कोरिया को सख्त संदेश देने की कोशिश की। उन्होंने कहा, अमेरिका ने सभी विकल्प खुले रखे हैं। वह दक्षिण कोरिया के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा है। हम शांतिपूर्ण तरीकों और बातचीत से कोरियाई प्रायद्वीप में शांति स्थापित करना चाहता है।
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डीएमजेड दौरे के दौरान पेंस की बेटी भी उनके साथ थी। उनके पिता 1950-53 के कोरियाई युद्ध के दौरान अमेरिकी सेना में थे। पेंस ने उम्मीद जताई कि उत्तर कोरिया सैन्य कार्रवाई की गलती नहीं करेगा, क्योंकि उसे पता है कि दक्षिण कोरिया के साथ अमेरिका और उसकी गठबंधन सेना खड़ी है। उल्लेखनीय है कि दक्षिण कोरिया में अमेरिका के 28,500 सैनिक मौजूद हैं और परमाणु हथियारों से लैस विमानवाहक पोत यूएसएस कार्ल विंसन के नेतृत्व में हमलावर बेड़ा भी कोरियाई प्रायद्वीप में तैनात है।
ब्लूमबर्ग के मुताबिक अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप सीरिया की तरह उत्तर कोरिया पर भी अचानक हमला करने से नहीं हिचकेंगे। हालांकि फिलहाल वे चाहते हैं कि चीन इस समस्या का समाधान करे। उत्तर कोरिया का चीन सबसे महत्वपूर्ण सहयोगी है। इस बीच, उत्तर कोरियाई न्यूज एजेंसी केसीएनए ने किम जोंग उन का एक पत्र जारी किया है। इसमें उत्तर कोरियाई तानाशाह ने सीरियाई राष्ट्रपति बशर अल असद को पूर्ण समर्थन का एलान किया है।