हथियारों के लिए पाकिस्तान को अनुदान बंद कर सकता अमेरिका
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के सालाना बजट में यह प्रस्ताव शामिल है। इसके अनुसार, सैन्य अनुदान को कर्ज में तब्दील किया जा सकता है।
वाशिंगटन, पीटीआई। अमेरिका पाकिस्तान पर अपनी मेहरबानियों में कटौती कर सकता है। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने देश के सालाना बजट में पाकिस्तान को हथियारों की खरीद के लिए दिए जाने वाले अनुदान को कर्ज के रूप में तब्दील करने का प्रस्ताव रखा है। इसे पाकिस्तान के लिए बड़े झटके के रूप में देखा जा रहा है। हालांकि ट्रंप प्रशासन के अनुसार इस पर अंतिम निर्णय विदेश मंत्रालय लेगा।
भारत व ब्रिटेन जैसे संसदीय लोकतांत्रिक प्रणाली वाले देशों के इतर जहां वित्त मंत्री खुद बजट भाषण प्रस्तुत करते हैं, अमेरिका में व्हाइट हाउस सांसदों को राष्ट्रपति के बजट प्रस्तावों की मुद्रित प्रति भेजता है। ट्रंप प्रशासन के पहले सालाना बजट को आज अमेरिकी कांग्रेस के पास भेज दिया गया। व्हाइट हाउस में बजट प्रबंधन कार्यालय के निदेशक ने बताया कि पाकिस्तान समेत कई देशों को दी जाने वाली फॉरेन मिलिट्री फंडिंग (एफएमएफ) को अनुदान से कर्ज के रूप में बदले जाने का प्रस्ताव है।
निदेशक ने यह भी साफ किया कि आतंरिक चर्चाओं में यह विकल्प सामने आया है लेकिन इस पर अंतिम मुहर नहीं लगी है। संभव है, जरूरत पड़ने पर पूर्व से दिए जा रहे वित्तीय अनुदान के अनुसार ही पाकिस्तान को सैन्य उपकरण बेचे जाएं। विदेश मंत्रालय के समक्ष यह विकल्प खुला हुआ है कि वह अमेरिकी हितों के मद्देनजर अनुदान या कर्ज पर कोई निर्णय ले।
ट्रंप प्रशासन के इस कदम को बढ़ते अमेरिकी सैन्य खर्च को देखते हुए विदेशी अनुदान में कटौती के प्रयास के रूप में देखा जा रहा है। हालांकि व्हाइट हाउस ने इजरायल व मिस्त्र को सैन्य अनुदान जारी रखने का फैसला लिया है।
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