नेपालः प्रमुख वाम दलों में पड़ी दरार, पीएम ओली की विदाई तय
नेपाल में कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ नेपाल (लेनिनवादी) व यूनिफाइड कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ नेपाल (यूसीपीएन माओवादी) के संबंध टूटने के कगार पर हैं।
काठमांडू, प्रेट्र। नेपाल के दो प्रमुख वाम दलों कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ नेपाल (लेनिनवादी) व यूनिफाइड कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ नेपाल (यूसीपीएन माओवादी) के संबंध टूटने के कगार पर पहुंच गए हैं। प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली के नेतृत्व वाली सात महीने पुरानी सरकार का गिरना लगभग तय है।
यूसीपीएन माओवादी ने बुधवार को अपने नेता प्रचंड के नेतृत्व में नई सरकार के गठन का फैसला किया। पार्टी ने मुख्य विपक्षी दल नेपाली कांग्रेस, मधेशी दलों और अन्य छोटे दलों से अपने नेतृत्व वाली सरकार में शामिल होने का आग्रह किया है।
माना जा रहा है कि गुरुवार को स्थायी समिति की बैठक के बाद यूसीपीएन माओवादी ओली सरकार से समर्थन वापसी की घोषणा कर सकती है। हालांकि यूसीपीएन माओवादी के नेता दीनानाथ शर्मा के अनुसार पार्टी ने राष्ट्रीय एकता सरकार के गठन का फैसला किया है। लेकिन, इसका नेतृत्व कौन करेगा इस संबंध में अभी फैसला नहीं हुआ है।
गौरतलब है कि प्रचंड भारत विरोधी रुख के लिए जाने जाते हैं। वे 18 अगस्त 2008 से 25 मई 2009 तक नेपाल के प्रधानमंत्री भी रह चुके हैं।
नेपाली कांग्रेस की रणनीति
बीते साल विनाशकारी भूकंप की आपदा झेलने वाले नेपाल में पुनर्निर्माण कार्यों की धीमी रफ्तार को लेकर ओली सरकार निशाने पर है। मुख्य विपक्षी दल नेपाली कांग्रेस पहले ही सरकार के खिलाफ अविश्र्वास प्रस्ताव लाने की बात कह चुकी है। पार्टी अध्यक्ष शेर बहादुर देउबा ने सरकार पर महत्वपूर्ण राजनीतिक पदों पर विपक्ष से सलाह-मशविरे किये बिना नियुक्ति का आरोप लगाया है।
पार्टी उनके नेतृत्व में भी सरकार गठन की संभावनाएं तलाश रही है। इसके अलावा संविधान में उपेक्षा के विरोध में छह महीने तक आंदोलनरत रहे मधेशी दल भी अपनी मांगों पर गौर नहीं किए जाने के कारण मौजूदा सरकार से नाराज हैं।