चुनाव बहिष्कार पर नेपाली पीएम ने मधेशियों को चेताया
नेपाल में 14 मई को स्थानीय चुनाव होने वाले हैं। मधेशी दलों ने इसका बहिष्कार करने का एलान किया है।
काठमांडू, प्रेट्र । नेपाल सरकार और मधेशी समर्थक राजनीतिक दलों में तनातनी की स्थिति बन गई है। प्रधानमंत्री प्रचंड ने चेतावनी देते हुए कहा कि स्थानीय निकाय चुनाव का बहिष्कार करने पर इन पार्टियों को भयानक परिणाम भुगतने होंगे। नेपाल में 14 मई को स्थानीय चुनाव होने वाले हैं। मधेशी दलों ने इसका बहिष्कार करने का एलान किया है।
प्रधानमंत्री प्रचंड बिरतामोड़ (झापा) में सीपीएन (माओवादी सेंटर) द्वारा शुक्रवार को आयोजित एक चुनावी जनसभा को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि सरकार ने संयुक्त लोकतांत्रिक मधेशी मोर्चा (सात मधेशी दलों का गठजोड़) की चिंताओं को दूर करने के लिए हर संभव लचीलापन दिखाया है। उन्हें चुनावी प्रक्रिया में लाने के प्रयास किए जा रहे हैं।
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प्रचंड प्रधानमंत्री होने के साथ माओवादी पार्टी के अध्यक्ष भी हैं। प्रचंड ने कहा, 'मैं चुनाव में शामिल होने के लिए मधेशियों को मनाने का प्रयास करूंगा। इसके बावजूद यदि मोर्चा के नेता स्थानीय चुनाव में शामिल होने से इन्कार कर देते हैं तो इस फैसले से सिर्फ उनको और उनकी प्रतिष्ठा को ही नुकसान पहुंचेगा। चुनाव का बहिष्कार करने पर जनता मोर्चा को ही अस्वीकार कर देगी।'
एकजुट होने लगे मधेशी दल
मधेशी समर्थक राजनीतिक दल एकजुट होने लगे हैं। गुरुवार को ऐसे छह दलों ने साथ मिलकर राष्ट्रीय जनता पार्टी का गठन किया। नेपाली संसद में इन दलों के कुल 24 सांसद हैं। ये दल दक्षिणी तराई क्षेत्र के लोगों का प्रतिनिधित्व करने का दावा करते हैं। इनमें अधिकांश भारतीय मूल के हैं। मधेशी दलों ने वर्ष 2015 में अमल में आए संविधान में संशोधन कर नागरिकता और प्रांतों की सीमाओं का फिर से निर्धारण करने की मांग कर रहे हैं।