प्रांतों की सीमा का फिर से निर्धारण करेगा नेपाल
प्रचंड, नेपाली कांग्रेस अध्यक्ष शेर बहादुर देउबा और सीपीएन-यूएमएल के प्रमुख पूर्व प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली के बीच यह बैठक करीब डेढ़ घंटे चली।
काठमांडू, प्रेट्र। संविधान में संशोधन नेपाल सरकार की शीर्ष प्राथमिकता है। प्रांतों की सीमा का भी फिर से निर्धारण होगा। इसके लिए जल्द ही संघीय आयोग का गठन किया जाएगा। मधेशी और अन्य जातीय समूहों की मांगों को पूरा करने के लिए लचीला रूख अपनाने की जरूरत बताते हुए प्रधानमंत्री प्रचंड ने गुरुवार को यह बात कही। सत्ताधारी गठबंधन के साझीदार सीपीएन-माओवादी, नेपाली कांग्रेस और मुख्य विपक्षी दल सीपीएन-यूएमएल की बैठक के बाद वे पत्रकारों से बात कर रहे थे।
प्रचंड, नेपाली कांग्रेस अध्यक्ष शेर बहादुर देउबा और सीपीएन-यूएमएल के प्रमुख पूर्व प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली के बीच यह बैठक करीब डेढ़ घंटे चली। प्रचंड के प्रधानमंत्री बनने के बाद तीनों शीर्ष नेताओं की यह पहली बैठक थी। ओली सरकार को गिराने के बाद प्रचंड ने अगस्त में दूसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ ली थी।
सूत्रों के अनुसार संविधान में संशोधन को लेकर तीनों दलों के बीच धीरे-धीरे मतभेद कम होते जा रहे हैं और अब वे एक ही दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। गौरतलब है कि बीते साल लागू किए गए संविधान में उपेक्षा से नाराज मधेशी और अन्य जातीय समूहों का आंदोलन महीनों तक चला था।
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