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हाफिज सईद की नजरबंदी की याचिका पर सुनवाई कल तक के लिए स्थगित

हाफिज सईद की ओर से कोर्ट में दखिल याचिका में कहा गया कि सरकार का यह फैसला न्यायक्षेत्र के खिलाफ है।

By Sachin BajpaiEdited By: Published: Mon, 20 Mar 2017 06:39 PM (IST)Updated: Mon, 20 Mar 2017 06:49 PM (IST)
हाफिज सईद की नजरबंदी की याचिका पर सुनवाई कल तक के लिए स्थगित
हाफिज सईद की नजरबंदी की याचिका पर सुनवाई कल तक के लिए स्थगित

लाहौर, जेएनएन । लाहौर हाईकोर्ट की ओर से आतंक विरोधी कानून के तहत हाउस अरेस्ट की सजा के खिलाफ जमात-उद-दावा चीफ हाफिज सईद और चार अन्य की ओर से दाखिल याचिका को कल तक के लिए स्थगित कर दिया गया। मामले की सुनवाई कर रही जस्टिस सैय्यद काजिम राजा शम्सी के नेतृत्व वाली दो सदस्यीय बेंच के समक्ष सरकारी वकील की ओर से मामले में अतिरिक्त समय मांगा गया। जिसे कोर्ट की ओर से स्वीकार कर लिया गया। हाफिज सईद की ओर से कोर्ट में दखिल याचिका में कहा गया कि सरकार का यह फैसला न्यायक्षेत्र के खिलाफ है।

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अदालत से इसे खारिज करने की मांग की गयी। हाफिज सईद के मुताबिक सरकार का यह फैसला जीवन जीने और स्वतंत्रता के मौलिक अधिकार के खिलाफ है। हालांकि कोर्ट हाफिज सईद की दलीलों के इतर सरकारी वकील के अतिरिक्त समय की मांग को स्वीकार करते सुनवाई को कल तक के लिए स्थगित कर दिया।

याचिका को मुंबई हमलों के मास्टरमाइंड हाफिज सईद, मलिक जफर इकबाल, अब्दुर रहमान अबिद, काजी काशिफ हुसैन और अब्दुल्ला उबैद की ओर से लाहौर हाईकोर्ट में दाखिल की गयी थी। बीती 30 जनवरी को पाकिस्तान सरकारी की ओर से जमात-उद-दावा के चीफ हाफिज सईद और फतेह-ए-इंसानियत के कुल पांच लोगों को लाहौर में हाउस अरेस्ट किया था। हाफिज सईद समेत चार अन्य को पाकिस्तान सरकार की ओर से आतंक विरोधी कानून के तहत अगले 90 दिनों के लिए हाउस अरेस्ट किया है। जिसकी समय सीमा 30 जनवरी से शुरु होती है।

जमात-उद-दावा और फतह-ए-इंसानियत के 37 नेताओं को हाल ही में पाकिस्तान की एक्जिट कंट्रोल लिस्ट में डाल दिया है। ऐसे में इन्हें देश से बाहर जाने की इजाजत नहीं होगी। हाफिज सईद को वर्ष 2008 के नवंबर माह में मुंबई हमलों के बाद भी हाउस अरेस्ट किया गया था। लेकिन वर्ष 2009 में उसे रिहा कर दिया गया था। आतंकी गतिविधियों में शामिल होने के चलते अमेरिका की ओर से हाफिज सईद पर 10 मिलियन अमेरिकी डॉलर के ईनाम रखा गया है।
 


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