Move to Jagran APP

OBOR पर चीन ने दी सफाई, कहा-भारत को चिंतित होने की जरूरत नहीं

OBOR पर भाारत चिंताओं पर सफाई देते हुए चीन ने साफ किया है कि क्षेत्रीय संप्रभुता से इसका कोई लेना देना नहीं। कश्मीर को लेकर हम पुरानी नीति पर कायम हैं। भारत को चिंता नहीं करनी चाहिए।

By T empEdited By: Published: Mon, 15 May 2017 06:25 PM (IST)Updated: Mon, 15 May 2017 08:17 PM (IST)
OBOR पर चीन ने दी सफाई, कहा-भारत को चिंतित होने की जरूरत नहीं
OBOR पर चीन ने दी सफाई, कहा-भारत को चिंतित होने की जरूरत नहीं

बीजिंग, एजेंसीः चीन ने वन बेल्ट, वन रोड (OBOR) परियोजना में पारदर्शिता और भारत की संप्रभुता की चिंताओं को खारिज करते हुए कहा है कि हमारे किसी काम का संबंध क्षेत्रीय संप्रभुता के विवाद से नहीं है। चीन ने दावा किया है कि अंतर्राष्ट्रीय समुदाय की प्रतिक्रिया उसके पक्ष में है।

loksabha election banner

वहीं चीनी विदेश मंत्रालय ने चीन-पाकिस्तान इकोनॉमिक कॉरिडोर (CPEC) पर भी अपना मत स्पष्ट किया। CPEC के पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर से होकर जाने पर भारत ने ऐतराज जताया था, इस पर चीन ने कहा, इसका संबंध क्षेत्रीय संप्रभुता के विवाद से नहीं है और इसका प्रभाव कश्मीर मुद्दे पर चीन की स्थिति पर नहीं पड़ेगा।


भारत ने शनिवार यानी 13 मई को चीन के बेल्ट एंड रोड फोरम से एक दिन पहले CPEC पर अपनी चिंता समेत OBOR के जरिए क्षेत्रीय संप्रभुता और कर्ज बोझ पर बयान दिया था। वन बेल्ट, वन रोड पर भारत ने कहा था कि कनेक्टिविटी की पहल अंतर्राष्ट्रीय मानदंडों, बेहतर प्रशासन, कानून, पारदर्शिता और समानता पर आधारित होनी चाहिए. ऐसे प्रोजेक्टों का विकास नहीं होना चाहिए, जिनसे वैश्विक स्तर पर अनिश्चित कर्ज की समस्या में इजाफा हो।


भारत के इस बयान पर चीनी विदेश मंत्रालय ने कहा, 'बेल्ट एंड रोड परियोजना का वर्ष 2013 में प्रस्ताव रखा गया था। तबसे अब तक 100 देशों और कई अंतर्राष्ट्रीय संस्थाओं ने इस परियोजना का समर्थन किया है। बेल्ट एंड रोड फोरम फॉर इंटरनेशनल कोऑपरेशन के उद्घाटन पर चीनी राष्ट्रपति शी चिनपिंग ने OBOR परियोजना के विकास, नीति, अवसंरचना, व्यापार और कनेक्टिविटी पर पड़ने वाले प्रभाव की चर्चा की थी।

संप्रभुता से जुड़ी अपनी चिंताओं की वजह से भारत इस समिट में शामिल नहीं हुआ है। भारत ने पाक अधिकृत कश्मीर से होकर गुजरने वाले इस विवादित आर्थिक गलियारे को लेकर चिंताओं के चलते इस फोरम का बहिष्कार किया है। समिट का उद्घाटन करते हुए चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने आज कहा था कि सभी देशों को एक दूसरे की संप्रभुता और भूभागीय एकता का सम्मान करना चाहिए। चीन-भारत आर्थिक गलियारे (सीपीईसी) को लेकर भारत की आपत्तियों का संदर्भ दिए बिना शी ने कहा सभी देशों को एक दूसरे की संप्रभुता, मर्यादा और भूभागीय एकता का, एक दूसरे के विकास के रास्ते का, सामाजिक प्रणालियों का और एक दूसरे के प्रमुख हितों तथा बड़ी चिंताओं का सम्मान करना चाहिए।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.