दोगुना बंदियों वाली जेल पर गर्मी बनी आफत
बांदा, जागरण संवाददाता : जानलेवा होती जा रही गर्मी में मंडल कारागार में बंदियों की हालत खराब है। यहा
बांदा, जागरण संवाददाता : जानलेवा होती जा रही गर्मी में मंडल कारागार में बंदियों की हालत खराब है। यहां करीब चौदह सौ सजायाफ्ता व विचाराधीन बंदी निरूद्ध हैं। जेल की बैरकों के दरवाजे व खिड़कियों मे लगी सरियों का फासला करीब चार-चार इंच का हैं। इससे जाने वाली गर्म हवाओं से बंदी खासे परेशान हैं। आए दिन बंदी हीट स्ट्रोक की चपेट मे आकर बीमार पड़ रहे हैं। बैरिकों के दरवाजों व खिड़कियों को ढकने का कोई प्रबंध नही किया गया हैं। बैरिक मे लगे पचीस फीसदी पंखे खराब हैं या फिर वह महज नाम के लिए डोल रहे हैं। बिजली जाने पर जनरेटर की कोई व्यवस्था नही हैं। पेशी पर अदालत आए कई बंदियों ने बताया कि गर्मी को लेकर जेल प्रशासन ने कोई खास प्रबंध नही किए हैं। जेल मे पानी की बेहद किल्लत हैं। बैरिकों के नल सूखे पडे़ हैं। जेल मे महज दो ही हैंडपंप लगे हैं। जो जिनमे बंदियों की लाइन लगी रहती हैं। बंदियों को पीने के पानी के लिए एक-एक छोटा सा घड़ा दिया गया हैं। एक तो इन घड़ो मे पानी ठंडा नही होता हैं। दूसरा इस भीषण गर्मी मे घड़ों का पानी दो घंटे मे ही खत्म हो जाता हैं। मौसमी सब्जियां कभी कभार ही दी जा रही हैं। चौबीस घंटे मे महज एक बार ही आम का पना दिया जाता हैं। खाने मे प्याज नही दी जाती हैं। जेल के अंदर चल रही कैंटीन मे खाने पीने से लेकर विसातखाने का सामान बाजार रेट से चार गुना अधिक मे दिया जाता हैं।
इनसेट-
'सुरक्षा की दृष्टि से बैरिकों के दरवाजों व खिड़कियों को ढका नही जा सकता हैं। इसके अलावा बंदियों के पीने के पानी की पर्याप्त व्यवस्था हैं। बैरिकों के सभी पंखे सही चल रहे हैं। शासन से बड़ा जनरेटर प्राप्त हो गया हैं। लेकिन उसका अभी कनेक्शन नही हुआ हैं। जल्द बिजली समस्या भी समाप्त हो जाएगी।
हरिबख्श सिंह अधीक्षक कारागार '