खास होगा इंग्लैंड के खिलाफ मुकाबला
उम्मीद के मुताबिक ही उत्तर प्रदेश जूनियर विश्व कप हॉकी की शुरुआत हुई है। भारत में होने वाले हॉकी इवेंट का अंदाज बाकी दुनिया से अलग होता है।
(जुगराज सिंह का कॉलम)
उम्मीद के मुताबिक ही उत्तर प्रदेश जूनियर विश्व कप हॉकी की शुरुआत हुई है। भारत में होने वाले हॉकी इवेंट का अंदाज बाकी दुनिया से अलग होता है। यहां अलग किस्म की भव्यता और उम्मीदें जुड़ी होती हैं। लखनऊ की ठंड में तेज-तर्रार हॉकी माहौल में गर्माहट भरने का काम कर रही है। इतना तय है कि यह गर्माहट पूरे टूर्नामेंट में बनी रहेगी। भारत के लिहाज से नजरें अब उस मुकाबले पर हैं, जिसे हम सभी लोग पूल का सबसे मुश्किल मान कर चल रहे थे। सही है कि विश्व कप जैसे इवेंट में किसी मुकाबले को आसान नहीं मान सकते। अगर आपने किसी भी मैच को आसान मान लिया, तो वहीं बड़ा झटका लगता है। फिर भी इंग्लैंड के खिलाफ मुकाबला खास होता है।
इंग्लैंड यकीनन बेहतर टीम है। उसे काउंटर अटैक पर महारत हासिल है। भारत को यह भी ध्यान रखना होगा कि विपक्षी टीम को कम से कम पेनाल्टी कॉर्नर मिलें। इंग्लैंड टीम ने पेनाल्टी कॉर्नर को गोल में तब्दील करने पर काफी ध्यान दिया है। ऐसे में भारतीय टीम को खासा ध्यान देना होगा। मैन टु मैन मार्किंग ऐसे में बेहद अहम हो जाती है। हमारे पास भी अच्छे स्कोरर हैं। हमारी फॉरवर्ड लाइन किसी भी लिहाज से कम नहीं है। भारतीय टीम के लिए जरूरी है कि फॉरवर्ड लाइन को थकने न दें। ये उम्मीद न करें कि फॉरवर्ड लाइन बिल्कुल पीछे आकर भी खेले। इंग्लैंड टीम दबाव डालकर यही कोशिश करेगी।
भारत को एक बेसिक बात पर ध्यान रखना होगा, जो हर कोच हर मैच में हर टीम से कहता है, गेंद पर नियंत्रण न खोएं। मैं भी टीम से यही कहूंगा। कई बार ऐसा होता है कि कमजोर टीम के खिलाफ इस तरह की गलती पर आप बच जाते हैं। लेकिन विश्व कप जैसे इवेंट में ऐसी गलती बहुत भारी पड़ सकती है। खासतौर पर यह ध्यान रखते हुए कि इंग्लैंड की ऑफ द बॉल रनिंग कमाल की है।
इस बीच, मैंने देखा कि टीम को तैयार करने के लिए कोच हरेंद्र सिंह मैच की रणनीति के अलावा टीम को प्रेरित करने के लिए कुछ खास कर रहे हैं। हमने देखा है कि इससे टीम पर फर्क पड़ता है। कई बार कमांडो स्टाइल ट्रेनिंग होती है। हमने कुछ पहले एक वीडियो तैयार किया था, जिसमें बॉर्डर जैसी कुछ फिल्मों के डायलॉग और सीन थे। हरेंद्र हमेशा कुछ नया करने की कोशिश करते हैं। लेकिन उन्हें भी पता है कि असली खेल मैदान पर होना है। बाहर की बातें आमतौर पर मैदान के प्रदर्शन को बेहतर करने के काम आती है, लेकिन असली खेल मैदान पर दिखता है। पहले भी कहता रहा हूं, एक बार फिर कह रहा हूं कि भारत के पास चैंपियन बनने का यह अब तक का बेहतरीन मौका है। मुझे उम्मीद है कि टीम उस मौके को पूरी तरह भुनाएगी।