Move to Jagran APP

धर्मगुरू के कहने पर 38 लोगों ने कर ली सामूहिक आत्महत्या

हेवेन गेट संप्रदाय, एक ऐसा संप्रदाय जिसके 39 सदस्यों ने 18 साल पहले एक साथ आत्महत्या कर ली थी इस विश्वास से कि उनकी आत्माओं को लेने एलियन यानी दूसरे ग्रह के प्राणी आएंगे। उनका मानना था कि ये एलियन उनकी आत्माओं को जीवन के दूसरे अयाम पर ले जाएंगे।

By Babita kashyapEdited By: Published: Mon, 12 Jan 2015 02:35 PM (IST)Updated: Mon, 12 Jan 2015 02:45 PM (IST)
धर्मगुरू के कहने पर 38 लोगों ने कर ली सामूहिक आत्महत्या

हेवेन गेट संप्रदाय, एक ऐसा संप्रदाय जिसके 39 सदस्यों ने 18 साल पहले एक साथ आत्महत्या कर ली थी इस विश्वास से कि उनकी आत्माओं को लेने एलियन यानी दूसरे ग्रह के प्राणी आएंगे। उनका मानना था कि ये एलियन उनकी आत्माओं को जीवन के दूसरे अयाम पर ले जाएंगे। इस भयावह घटना के 18 साल बाद भी यह संप्रदाय जिंदा है और उनके नए सदस्यों को यह दृढ़ विश्वास है कि एक दिन उनकी भी आत्मा को लेने एलियन आयेंगे और उनके बाद वे पृथ्वी को तहस-नहस कर देंगे।

loksabha election banner

26 मार्च, 1997 को अमेरिका सहित पूरे विश्व में तब हड़कंप मच गया था जब सेन डियागो, कैलिफोर्निया स्थित एक आश्रम में 39 शव पाए गए। इन सभी 39 लोगों ने एक साथ सुसाइड कर लिया था। सभी लोगों ने एक जैसे कपड़े (जो उनके पंथ का ड्रेस कोड था) पहन रखे थे। सभी शव बिस्तरों के ऊपर थे और सभी शवों के ऊपर बैंगनी रंग का कपडा ढका हुआ था।

यह सामूहिक आत्महत्या एक सनकी धर्मगुरू की करतूत थी जिसने अपने अनुयायियों को सम्मोहित कर यह यकीन दिला दिया था कि पृथ्वी पर बहुत जल्द ही एलियंस का हमला होने वाला है और यदि वो स्वर्ग जाना चाहते हैं तो उन्हें इस हमले से पहले इस धरती को छोड़कर जाना होगा।

इस धर्मगुरू का नाम था मार्शल हर्फ एपलव्हाइट। 12 मई 1931 को अमेरिका में जन्में एपलव्हाइट का झुकाव रहस्यवाद की तरफ था। उसने हेवन गेट अर्थात 'स्वर्ग का दरवाजा' नाम का एक पंथ बनाकर खुद को जीसस क्राइस्ट के अवतार के रूप में पेश किया। एपलव्हाइट का कहना था कि बहुत जल्द पृथ्वी एलियंस के हमले में तबाह होने वाली है पर उसके अनुयायी उसके साथ पृथ्वी के तबाह होने से पहले ही जीवन के दूसरे चरण की यात्रा को चल सकते हैं।

हेल बॉप कॉमेट (धूमकेतु) की एक तस्वीर को दिखाकर यह समझाया कि एलियंस एक स्पेसशिप में बैठकर धरती की ओर निकल चुके हैं और जल्दी ही पृथ्वी पर आक्रमण करके उसे नष्ट कर देंगे। यदि हम सबको जीसस के पास स्वर्ग में जाना है तो हमें उनके आने से पूर्व ही मृत्यु को गले लगाना पड़ेगा। इस तरह उसने अपने 38 भक्तों को अपने साथ आत्महत्या करने के लिए राजी कर लिया। 26 मार्च 1997 को इन लोगों ने वोदका के साथ जहर पीकर आत्महत्या कर लिया।

वर्तमान में इस पंथ के सदस्यों की संख्या 200 से अधिक है। 21 दिसंबर 2012 को जब धरती के नष्ट हो जाने की अफवाह उछली थी तब इस संप्रदाय के लोग फ्रांस के एक पहाड़ी के नजदीक एकत्रित हुए थे इस आशंका में कि कभी भी एलियन पृथ्वी पर हमला कर सकते हैं। खैर यह भविष्यवाणी कोरी अफवाह निकली, पर अभी भी यह डर बना हुआ है कि कहीं इस पंथ के नए सदस्य भी 26 मार्च 1997 जैसी किसी घटना को अंजाम न दे दें।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.