18 माह में 36 हजार करोड़ नहीं दे सकतेः सहारा
सहारा ग्रुप ने सुब्रत राय की जमानत के लिए डेढ़ साल में 36,000 करोड़ रुपए का भुगतान कर पाने में असमर्थता जताई है। मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट से ग्रुप ने कहा कि दुनिया का कोई भी बिजनेस हाउस महज 18 महीनों में 36,000 करोड़ रुपए नहीं चुका सकता। सर्वोच्च अदालत
नई दिल्ली। सहारा ग्रुप ने सुब्रत राय की जमानत के लिए डेढ़ साल में 36,000 करोड़ रुपए का भुगतान कर पाने में असमर्थता जताई है। मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट से ग्रुप ने कहा कि दुनिया का कोई भी बिजनेस हाउस महज 18 महीनों में 36,000 करोड़ रुपए नहीं चुका सकता। सर्वोच्च अदालत ने डेढ़ साल में 36,000 करोड़ रुपए के भुगतान का निर्देश दिया है।
मामले की सुनवाई के दौरान जज ने जब कहा कि सहारा रकम चुकाने के लिए बाध्य है तो ग्रुप के वकील कपिल सिब्बल ने माना कि इस पर कोई विवाद नहीं है। सिब्बल ने कहा, "भुगतान की बाध्यता पर कोई विवाद ही नहीं है।" सुप्रीम कोर्ट ने पहले कहा था कि सहारा को अपने बॉण्ड इन्वेस्टर्स को अगले 18 महीनों में 9 किस्तों के जरिए 36,000 करोड़ रुपए देने हैं।
कोर्ट ने यह भी कहा था कि यदि कंपनी प्रमुख सुब्रत राय सहारा किसी भी वक्त तीन किस्ते जमा कराने में चूक गए, तो तिहाड़ जेल में बंद उनके साथ कंपनी के दो अन्य डायरेक्टरों को भी कस्टडी में ले लिया जाएगा। कोर्ट ऑर्डर के मुताबिक 10,000 करोड़ रुपए जमा कर पाने में विफल रहे सुब्रत राय सहारा पिछले साल मार्च से ही जेल में हैं। वे 5,120 करोड़ रुपए कैश जमा करा चुके हैं, लेकिन बाकी रकम जुटाने में अब तक सफल नहीं हो पाए।
इसके लिए कंपनी अपनी प्रॉपर्टीज बेच रही है, ताकि सहारा श्री को जमानत दिलाई जा सके। सहारा समूह ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि गोरखपुर रियल इस्टेट कॉर्पोरेशन उसकी 44 एकड़ की प्रॉपर्टी के लिए 110 करोड़ रुपए देने के लिए तैयार हो गया है। मामले की अगली सुनवाई सोमवार को होगी।