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टेसला के भारत आने की उम्मीद बढ़ी, सरकार ने की तैयारी

सरकार की तरफ से किसी बहुराष्ट्रीय कंपनी के सीईओ के संदेह को दूर किया गया है।

By Manish NegiEdited By: Published: Tue, 23 May 2017 09:21 PM (IST)Updated: Tue, 23 May 2017 09:21 PM (IST)
टेसला के भारत आने की उम्मीद बढ़ी, सरकार ने की तैयारी
टेसला के भारत आने की उम्मीद बढ़ी, सरकार ने की तैयारी

नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। देश में सिर्फ इलेक्टि्रक कारों को बढ़ावा देने की नीति बना रही केंद्र सरकार ने इस बाजार की सबसे संभावनाओं वाली कंपनी टेसला को भारत में आने के लिए हर तैयारी पूरी कर ली है। यही वजह है कि जब टेसला के विश्वप्रख्यात सीईओ एलॉन मस्क ने भारत की नीतियों को लेकर संदेह जताया तो सरकार ने एक दिन के भीतर ही न सिर्फ उनके संदेह को दूर कर दिया बल्कि यह भी जता दिया कि भारत टेसला के लिए आकर्षक निवेश स्थल है। यह अपनी तरफ का पहला मौका है जब सरकार की तरफ से किसी बहुराष्ट्रीय कंपनी के सीईओ के संदेह को दूर किया गया है।

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टेसला सीईओ ने सोमवार को ट्वीट किया था कि भारत में विदेशी निवेशकों के लिए 30 फीसद घरेलू खरीद की नीति है जबकि वहां अभी तक उपकरणों के उत्पादन का ढांचा ही तैयार नहीं है। इससे भारत में जबरदस्त प्रतिक्रिया हुई थी क्योंकि फरवरी, 2017 में मस्क ने यह कहा था कि वह इस साल गर्मियों में भारतीय बाजार में उतरने को तैयार हैं। बहरहाल, मंगलवार को भारत में निवेश नीति से संबंधित वाणिज्य व उद्योग मंत्रालय के मेक इन इंडिया ट्विटर हैंडल से पूरी स्थिति को स्पष्ट किया गया।

सरकार की तरफ से टेसला को यह बताया गया है कि 30 फीसद घरेलू खरीद की शर्त मैन्यूफैक्चरिंग कंपनियों पर लागू नहीं होगी। साथ ही भारत में सामान तैयार करने के बाद कंपनी उसे किस तरह से बेचती है इसको लेकर भी कोई बाध्यता नहीं है। कंपनी इसे थोक, खुदरा या ई-कामर्स के जरिए बेच सकती है। स्थानीय खरीद संबंधी नियम सिर्फ रिटेल सेक्टर में लागू है लेकिन जब भारत में कोई उत्पाद तैयार किया जाता है तो कोई बाध्यता नहीं है।

दूसरी तरफ भारत में इलेक्टि्रक कारों को लेकर सरकार की तैयारियां भी अब सामने आने लगी है। बिजली मंत्री पीयूष गोयल ने मंगलवार को यह दोहराया है कि वर्ष 2030 के बाद से देश में सिर्फ बिजली से चलने वाली कारों की बिक्री पर सोचा जा रहा है। इस बारे में दैनिक जागरण ने कुछ ही दिन पहले सरकार की पूरी तैयारी पर विस्तृत खबर प्रकाशित की थी। जब से सरकार की इस मंशा को अंतरराष्ट्रीय मीडिया में भी खूब जगह दी जा रही है। भारत की तरफ से टेसला को भारत को अपनी भावी इलेक्टि्रक कारों के लिए निर्माण स्थल बनाने के लिए भी तमाम कोशिश की जा रही है। वर्ष 2015 में पीएम नरेंद्र मोदी ने स्वयं अमेरिका मे टेसला की सैन जोस स्थिति फैक्ट्री का दौरा किया था। हाल ही में देश के परिवहन मंत्री नितिन गडकरी भी वहां गये थे और कंपनी की भावी योजनाओं पर विचार विमर्श किया था।


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