Move to Jagran APP

शिवसेना ने परेश रावल के बयान को सराहा, अरुंधति रॉय की आलोचना की

शिव सेना ने अपने मुखपत्र सामना के संपादकीय पृष्ठ पर लिखा है कि परेश रावल ने अरुंधति राय के बयान का बिल्कुल सही जवाब दिया है।

By Srishti VermaEdited By: Published: Thu, 25 May 2017 04:04 PM (IST)Updated: Thu, 25 May 2017 07:58 PM (IST)
शिवसेना ने परेश रावल के बयान को सराहा, अरुंधति रॉय की आलोचना की
शिवसेना ने परेश रावल के बयान को सराहा, अरुंधति रॉय की आलोचना की

मुंबई (एएनआई)। शिव सेना ने गुरुवार को परेश रावल का पक्ष लेते हुए लेखिका अरुंधति पर तीखे वार किये। उन्होंने कहा कि अभिनेता से राजनीतिज्ञ बने परेश रावल ने रॉय को एक अच्छा जवाब दिया, जिन्होंने सम्मानित किये गए मेजर नितिन लेटुल गोगोई का विरोध किया था। शिव सेना ने कहा कि मेजर गोगोई द्वारा जीप में उस शख्स को बांधा गया था जो हिंसा को भड़काने का काम कर रहा था। शिव सेना ने अपने संपादकीय पेज सामना में रॉय की तरफ इशारा करते हुए लिखा है उनके जैसा शख्स जो एक राष्ट्र विरोधी के साथ मानवीय उल्लंघन का दावा करते हैं, वो दयनीय है।

loksabha election banner

"जब कश्मीर में सेना के द्वारा जीप से बांधे जाने वाले एक व्यक्ति का वीडियो सामने आया, तो हमारी सेना को इसके लिए दोषी ठहराया गया था। इन मानवाधिकारों के तथाकथित समर्थकों ने राष्ट्र विरोधी के साथ सहानुभूति शुरू कर दी, जो दरअसल में पत्थर-फेंक कर हिंसा उकसाने वालों में से थे। अरुंधति रॉय ऐसे ही राष्ट्र विरोधी के अधिकार के लिए आवाज उठा रही थी, जिन्हें परेश रावल ने बिल्कुल सही जवाब दिया। शिवसेना ने प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी से भी एक ऐसे कानून पर विचार करने का आग्रह किया, जो राष्ट्र विरोधी तत्वों का समर्थन करने वाले लोगों को दंडित कर सके।

मालूम हो कि, इससे पहले लोकसभा सदस्य परेश रावल ने रविवार रात ये ट्वीट कर तूफान मचा दिया था कि उस हिंसक राष्ट्र विरोधी कश्मीरी की जगह अरुंधति रॉय को जीप में बांधना चाहिए था। हालांकि रावल के इस ट्वीट के बाद उन्हें सोशल मीडिया पर कई लोगों के निंदा का शिकार भी होना पड़ा। उनके बयान को किसी ने शक्तिशाली फिल्म के किसी भयंकर डॉयलॉग की तरह तुलना की।

एक ट्विटर यूजर ने ट्वीट किया कि, शिक्षा की कमी मनुष्य को मनुष्य की तरह व्यवहार करने से रोकती है। जबकि दूसरे ट्विटर यूजर ने ट्वीट किया कि आपका अभिनय बल्कि काबिलेतारीफ है, लेकिन आपकी पूर्वाग्रहित मानसिकता निंदनीय है।

पुरस्कार विजेता लेखिका अरुंधति रॉय को कश्मीर मुद्दे पर अपने विवादित बयानों के लिए जाना जाता है। उन्होंने घाटी में सेनाओं की भूमिका की भी कड़ी आलोचना की है। अप्रैल में, एक कश्मीरी निवासी जो कथित रूप से पत्थर फेंक कर हिंसा उत्पन्न करता था उसे एक सेना जीप से बांध दिया गया था। इस घटना के बाद घाटी और पूरे देश में एक आक्रोश फैल गया था। 

यह भी पढ़ें : भाजपा की 'तानाशाही मानसिकता' को दर्शाता है परेश रावल का ट्वीट: शोभा ओझा 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.