महाराष्ट्र के मुस्लिमों में पैठ बढ़ा रहा संघ
विधानसभा चुनाव से पहले राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने महाराष्ट्र के मुस्लिमों के बीच अपनी पैठ बढ़ानी शुरू कर दी है। इस काम में लगे संघ के वरिष्ठ प्रचारक इंद्रेश कुमार ने संघ के मुस्लिम संगठन मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के कई जिला संयोजकों के मनोनयन की घोषणा की। महाराष्ट्र के 19 जिलों में मुस्लिम अ
मुंबई [ओमप्रकाश तिवारी]। विधानसभा चुनाव से पहले राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने महाराष्ट्र के मुस्लिमों के बीच अपनी पैठ बढ़ानी शुरू कर दी है। इस काम में लगे संघ के वरिष्ठ प्रचारक इंद्रेश कुमार ने संघ के मुस्लिम संगठन मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के कई जिला संयोजकों के मनोनयन की घोषणा की।
महाराष्ट्र के 19 जिलों में मुस्लिम आबादी 10 फीसद से ज्यादा है। मुंबई उप नगर एवं मुंबई शहर में तो क्रमश: 17 एवं 22 फीसद मुस्लिम बसते हैं। औरंगाबाद, अकोला एवं मालेगांव में भी मुस्लिम आबादी 15 फीसद से अधिक है। संभवत: इसी वजह से संघ मुस्लिमों के बीच पैठ बनाकर उनमें अपने प्रति फैले भ्रम को दूर करना चाहता है। शनिवार को मुंबई में हुई सभा इसी प्रयास की एक बानगी थी। जहां इंद्रेश कुमार को सुनने के लिए एक स्कूल का बड़ा हॉल न सिर्फ भरा हुआ था, बल्कि उनके साथ मंच साझा कर रहे कई मौलवी दो दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा दिए गए मुस्लिमों की वफादारी वाले बयान की खुले दिल से तारीफ करते देखे गए, लेकिन उनमें इस बात को लेकर असंतोष भी दिखा कि प्रधानमंत्री अपनी पार्टी के उन लोगों पर काबू क्यों नहीं रखते जो अपने बयानों से माहौल खराब करते हैं। उनका इशारा महंत आदित्यनाथ और मेनका गांधी की ओर था।
संघ के किसी संगठन के नाम पर मुंबई में मुस्लिमों को इकट्ठा करना आसान नहीं था। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के कार्यकर्ता रहे 32 वर्षीय इरफान अली के मुताबिक लोगों के बीच जाकर वह पूछते हैं कि संघ ने ऐसे कौन से चार काम किए हैं, जिससे उनके जीवन में तकलीफ पैदा हुई हो। जवाब में ज्यादातर लोग बाबरी मस्जिद कांड से आगे नहीं बढ़ पाते। तब उन्हें यह कहकर समझाना पड़ता है कि किसी को बुरा कहने या करार देने से पहले कम से कम एक बार उसकी बात तो सुनिए। एक बार सभा में आने के बाद उनके मन से संघ के प्रति भ्रम दूर करने का काम इंद्रेश कुमार का होता है।