पाक के गोलों से थर्राए सीमांत क्षेत्र, चौकियों और गांवों पर दागे गोले
पाकिस्तानी गोलों से सीमांत क्षेत्र थर्रा गए हैं। शनिवार रात से रविवार सुबह तक पाकिस्तान ने सांबा के रामगढ़ से लेकर जम्मू के कानाचक्क तक 33 भारतीय चौकियों व बीस के करीब गांवों पर सैकड़ों गोले दागे। हालांकि सीमा सुरक्षा बल ने भी इस गोलीबारी का मुंहतोड़ जवाब दिया।
जेएनएन, जम्मू। पाकिस्तानी गोलों से सीमांत क्षेत्र थर्रा गए हैं। शनिवार रात से रविवार सुबह तक पाकिस्तान ने सांबा के रामगढ़ से लेकर जम्मू के कानाचक्क तक 33 भारतीय चौकियों व बीस के करीब गांवों पर सैकड़ों गोले दागे। हालांकि सीमा सुरक्षा बल ने भी इस गोलीबारी का मुंहतोड़ जवाब दिया।
गोलाबारी के बीच दिल का दौरा पड़ने से एक वृद्ध महिला की मौत हो गई, जबकि एक दर्जन के करीब मवेशी गोलीबारी में मारे गए। रिहायशी इलाकों पर गोलीबारी से कई मकानों को भी नुकसान पहुंचा। सीमा सुरक्षा बल के जवानों ने इस गोलीबारी का करारा जबाव दिया। सूत्रों के अनुसार, इसमे पाकिस्तान के चार नागरिकों की मौत होने के साथ दर्जन भर लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं। शनिवार रात करीब 10.10 बजे पाकिस्तान ने भारतीय क्षेत्र कि आरएसपुरा सेक्टर व अरनियां सब सेक्टर कि 27 सीमा चौकियों पर भारी गोलीबारी शुरू कर दी। शनिवार देर रात को पाकिस्तान ने सोलह जुलाई के बाद पहली बार रामगढ़ व कानाचक्क की तीन चौकियों पर भी गोलाबारी की।
गोलीबारी का सिलसिला रविवार सुबह सात बजे तक चला। इस दौरान भारतीय क्षेत्र के आरएसपुरा व अरनियां के 14 गांवों पर गोलीबारी की गई। गोलीबारी के कारण सीमांत गांव विद्यिपुर निवासी वीरो देवी पत्नी रतन लाल की पाक गोलों के धमाके की आवाज सुनने से मौत हो गई। इसके अलावा सीमांत गांव त्रेवा में छह व निकोवाल में एक जानवर की मौत हो गई। वहीं, गोलीबारी के चलते सीमांत गांवों से लोगों का पलायन जारी है।
रविवार को आरएसपुरा के सीमांत गांव बेरा, बेगा, चोगा, राजयुप सज्जदा, गोपड़ बस्ती के ग्रामीण एसडीएम आरएसपुरा से मिले। उन्होंने भी प्रशासन से उनको सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित करने की मांग की। इससे पहले करीब 14 गांव के लोग पहले से ही शिविरों में रह रहे हैं। रविवार को सीमा से सुरक्षित स्थानों की ओर पलायन करने वाले ग्रामीणों की संख्या बढ़ गई है।
वहीं, दूसरी ओर पाकिस्तानी रेंजरों ने अरनिया सेक्टर में पड़ती भारतीय चौकियों के साथ-साथ रिहायशी इलाकों में भी कहर बरपाया। पाकिस्तानी रेंजरों द्वारा दागे गए कई मोटार्र शैल से त्रेवा व जवोबाल गांवों में चार मवेशियों की मौत हो गई व तीन मवेशी घायल हो गए। वहीं, छह घर क्षतिग्रस्त हो गए। बीती रात पाकिस्तानी रेंजरों ने इन सीमांत गांवों पर ताबड़ तोड़ मोर्टार शेल दागे थे। त्रेवा गांव के आसपास ही तकरीबन 25 मोर्टार शेल गिरे। हालांकि इन गांवों से पहले ही लोग पलायन कर चुके हैं। मगर चार मवेशी मारे गए।
वहीं, पाकिस्तानी रेंजरों ने जबोवाल कठार, जोहियां सहित आसपास के क्षेत्रों में भी फाय¨रग की। बिश्नाह के विधायक अश्रि्वनी कुमार ने गोलाबारी वाले क्षेत्र का दौरा किया और प्रभावित लोगों को हर संभव सहायता का आश्वासन दिया।
इसी बीच, पाकिस्तान की गोलबारी के दौरान पहली बार सांबा के रामगढ़ की चमलियाल, नारायणपुर व स्टाफ टू पोस्टों को भी निशाना बनाया गया। इसके साथ अखनूर के निकट कानाचक्क की भी तीन पोस्टें निशाना बनी।
पाक गोलाबारी के चलते हाईअलर्ट पर सेना:
आरएसपुरा। पाकिस्तानी गोलाबारी से सीमांत क्षेत्रों में हालात खराब होते देख सेना भी कड़ी चौकसी बरत रही है। अंतरराष्ट्रीय सीमा पर सुरक्षा की दूसरी पंक्ति में तैनात सेना अब्दुल्लियां, कोरोटाना खुर्द, गुलाबगढ़ बस्ती, सेई और निकोवाल गांवों में उपजे हालात पर कड़ी नजर रखे हुए है। यही हालात सांबा के अखूनर के सीमांत इलाकों के भी हैं।
सीमा पर मोर्चा सीमा सुरक्षाबल ही संभाल रहा है, लेकिन गेरिसन से लगते इलाकों में जवानों की गतिविधियां बढ़ गई हैं। ऐसे पाकिस्तान के आक्रामक तेवर को देखते हुए किया गया है। वहीं, न सिर्फ सेना अपितु सीमा सुरक्षा बल के अधिकारियों का भी कहना है कि सेना की गतिविधियों का फिलहाल सीमा के हालात से कुछ लेना देना नहीं है।
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