जाकिर नाइक पर शिकंजा कसा, NIA ने जारी किया गैर जमानती वारंट
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने जांच में सहयोग नहीं करने पर अदालत से जाकिर नाईक के खिलाफ गैर ज़मानती वारंट जारी करने की मांग की थी।
मुंबई, प्रेट्र। एनआइए की विशेष अदालत ने विवादित धर्म प्रचारक जाकिर नाइक के खिलाफ गैरजमानती वारंट जारी किया है। आतंकवादी मामले में कथित भूमिका के लिए एजेंसी को इस्लाम धर्म के प्रचारक की तलाश है।
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआइए) ने नाइक के खिलाफ गैर कानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम के तहत पिछले वर्ष मुकदमा दर्ज किया था। एजेंसी ने अदालत को बताया कि तीन समन जारी करने के बाद भी नाइक उसके सामने हाजिर नहीं हुए। उन्हें भारत लाने के लिए इंटरपोल की मदद लेने की जरूरत पड़ेगी। विशेष अदालत के न्यायाधीश वीवी पाटिल ने नाइक के खिलाफ गैरजमानती जारी किया।
पिछले सप्ताह मुंबई की एक अन्य अदालत से भी नाइक के खिलाफ गैरजमानती वारंट जारी किया जा चुका है। यह वारंट मनी लांड्रिंग मामले में वारंट जारी किया गया था। प्रवर्तन निदेशालय ने नाइक के खिलाफ मनी लांड्रिंग मामला दर्ज किया है। निदेशालय के वकील ने कहा था कि नाइक संभवत: संयुक्त अरब अमीरात में छिपे हैं। 51 वर्षीय नाइक पिछले वर्ष से फरार चल रहे हैं।
बांग्लादेश की राजधानी ढाका में हुए आतंकवादी हमले में शामिल कुछ आतंकियों ने उनसे प्रभावित होने का दावा किया था। ढाका हमले के बाद एनआइए ने नाइक और उनके संगठन इस्लामिक रिसर्च फाउंडेशन के कुछ पदाधिकारियों के खिलाफ मामला दर्ज किया था। सभी के खिलाफ भादवि की धारा 153-ए (विभिन्न समुदायों के बीच धर्म और नस्ल के आधार पर भेदभाव को बढ़ावा देना) के तहत मामला दर्ज किया गया था।
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