आपकी सालाना आय में 2 लाख रुपये वृद्धि करना चाहती है सरकार
नेहरूयुगीन पंचवर्षीय योजनाएं खत्म करने के बाद सरकार देश के विकास का जो 'पंद्रह वर्षीय विजन' दस्तावेज तैयार करने जा रही है
नई दिल्ली (जेएनएन)। सरकार अगले पंद्रह साल में आपकी सालाना आमदनी में दो लाख रुपये की वृद्धि करना चाहती है। नेहरूयुगीन पंचवर्षीय योजनाएं खत्म करने के बाद सरकार देश के विकास का जो 'पंद्रह वर्षीय विजन' दस्तावेज तैयार करने जा रही है उसमें एक महत्वपूर्ण लक्ष्य वर्ष 2031-32 तक देश के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) को बढ़ाकर 469 लाख करोड़ रुपये करना है। माना जा रहा है कि इससे देश की प्रति व्यक्ति आय भी तकरीबन दो लाख रुपये बढ़ जाएगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में रविवार को नीति आयोग की गवर्निग काउंसिल की तीसरी बैठक में देश के विकास के पंद्रह वर्षीय विजन दस्तावेज, सात वर्षीय रणनीति और त्रिवर्षीय कार्ययोजना पर व्यापक चर्चा हुई। नीति आयोग के उपाध्यक्ष अरविंद पानागढि़या ने पंद्रह साल में देश के विकास का विजन पेश करते हुए कहा कि प्रचलित कीमतों पर वर्ष 2015-16 में देश का जीडीपी 137 लाख करोड़ रुपये है जो 2031-32 में बढ़कर 469 करोड़ रुपये हो जाएगा। इस तरह पंद्रह साल की अवधि में इसमें 332 लाख करोड़ रुपये की वृद्धि होगी। पानागढि़या ने कहा कि बीते सत्तर साल में देश के जीडीपी में जितनी वृद्धि हुई है उससे कई गुना ज्यादा वृद्धि पंद्रह वर्षो में हो जाएगी। उन्होंने उम्मीद जतायी कि इस दौरान देश सालाना 8 प्रतिशत की दर से विकास करेगा।
पानागढि़या के मुताबिक वर्ष 2031-32 में देश का प्रति व्यक्ति जीडीपी भी बढ़कर 3,14,667 रुपये हो जाएगा जो कि वर्ष 2015-16 में 1,06,589 रुपये था। इस तरह इसमें दो लाख रुपये से ज्यादा की वृद्धि होगी। पंद्रह वर्षीय विजन दस्तावेज के प्रजेंटेशन में पानागढि़या ने अनुमान लगाया है कि वर्ष 2031-32 में भारत के 60 करोड़ लोग शहरों में रह रहे होंगे। उल्लेखनीय है कि 2011 की जनगणना के अनुसार करीब 38 करोड़ लोग शहरों में रहते हैं। वहीं 2031-32 मंे केंद्र और राज्य सरकारों का सालाना व्यय बढ़कर भी करीब 130 लाख करोड़ रुपये हो जाएगा।
पंद्रह साल के विजन में पीएम के 'न्यू इंडिया' का खाका भी पेश किया गया। इस न्यू इंडिया मंे सभी के पास आवास, शौचालय, एलपीजी कनेक्शन, बिजली और डिजिटल कनेक्टिीविटी होगी। साथ ही सभी लोगों को दोपहिया वाहनों, कार, व एयरकंडीशन जैसी आरामदायक सुविधाओं की पहुंच भी होगी। यह ऐसा नया भारत होगा जिसमें सभी लोग साक्षर होंगे और सबको स्वास्थ्य सुविधा सुलभ होगी। साथ ही इसमें रेल और रोड का बड़ा नेटवर्क भी होगा। इसके अलावा गांवों और शहरों में सफाई पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।
पानागढि़या ने काउंसिल को अपने प्रजेंटेशन के दौरान सात खंडों में त्रिवर्षीय कार्ययोजना भी पेश की जिसमें उद्योग और सेवा क्षेत्र में बेहतर पगार वाली नौकरियों के सृजन पर जोर दिया गया है। इसके अलावा इसमें परिवहन, सामाजिक क्षेत्र और सतत विकास की कार्ययोजना भी पेश की गयी है। त्रिवर्षीय कार्ययोजना में करीब 300 बिन्दु सुझाए गए हैं। कई राज्यों ने इस पर अपनी टिप्पणी दे दी है जबकि कुछ अन्य राज्य आने वाले समय में इस पर टिप्पणी देंगे। पानागढि़या से जब पूछा गया कि त्रिवर्षीय कार्ययोजना और पंद्रह वर्षीय विजन दस्तावेज कब सार्वजनिक होंगे तो उन्होंने उसका स्पष्ट जवाब नहीं दिया।
उल्लेखनीय है कि सरकार ने योजना आयोग को खत्म करने के बाद पंचवर्षीय योजनाओं की नेहरूयुगीन परंपरा को भी समाप्त करने का ऐलान किया था। 12वीं पंचवर्षीय योजना 31 मार्च 2017 को समाप्त हो चुकी है। इसके बाद अब कोई नयी पंचवर्षीय योजना नहीं आएगी। इसकी वजह त्रिवर्षीय कार्ययोजना, सात वर्षीय रणनीति और पंद्रह वर्षीय विजन दस्तावेज ही तैयार किए जाएंगे।