रोजगार बढ़ाने में मददगार होंगे नए श्रम कानूनः सरकार
श्रम कानूनों में प्रस्तावित बदलाव को लेकर ट्रेड यूनियनों की चिंता दूर करते हुए श्रम मंत्रालय ने कहा है कि इसका मकसद नए कारखाने लगाने के लिए नियमों को सरल बनाना, रोजगार के मौके बढ़ाना और सामाजिक सुरक्षा का दायरा बढ़ाना है।
नई दिल्ली। श्रम कानूनों में प्रस्तावित बदलाव को लेकर ट्रेड यूनियनों की चिंता दूर करते हुए श्रम मंत्रालय ने कहा है कि इसका मकसद नए कारखाने लगाने के लिए नियमों को सरल बनाना, रोजगार के मौके बढ़ाना और सामाजिक सुरक्षा का दायरा बढ़ाना है।
श्रम मंत्रालय ने केंद्रीय ट्रेड यूनियनों की 10 सूत्री मांग पत्र पर स्थिति रिपोर्ट में कहा है, "इन श्रम कानून सुधारों का मकसद नई यूनिट्स लगाने की प्रक्रिया सुगम बनाने के लिए कानून में सरलता लाना और सामाजिक सुरक्षा के प्रावधानों के साथ रोजगार के अवसर पैदा करना है।"
श्रम मंत्रालय फिलहाल दूसरे राष्ट्रीय आयोग की सिफारिशों के आधार पर 44 श्रम कानूनों को 4-5 श्रम संहिता में शामिल करने की प्रक्रिया में है। ट्रेड यूनियनों की केंद्रीय सार्वजनिक उपक्रमों में विनिवेश रोकने की मांग पर मंत्रालय ने कहा कि इससे प्राप्त रकम का इस्तेमाल सामाजिक सुरक्षा योजनाओं और पूंजीगत खर्च की जरूरतें पूरी करने पर किया जा रहा है।