मसर्रत के खिलाफ पीएसए लगाने का महबूबा ने किया बचाव
जम्मू-कश्मीर में सत्ताधारी पीडीपी की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने अलगाववादी मसर्रत आलम के खिलाफ पब्लिक सेफ्टी एक्ट (पीएसए) लगाए जाने का बचाव किया है। उनका कहना है कि लश्कर-ए-तैयबा प्रमुख हाफिज सईद का समर्थन करने वाली गतिविधियों से जम्मू-कश्मीर का माहौल बिगड़ सकता था। पहले विपक्षी नेता के रूप में
नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर में सत्ताधारी पीडीपी की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने अलगाववादी मसर्रत आलम के खिलाफ पब्लिक सेफ्टी एक्ट (पीएसए) लगाए जाने का बचाव किया है। उनका कहना है कि लश्कर-ए-तैयबा प्रमुख हाफिज सईद का समर्थन करने वाली गतिविधियों से जम्मू-कश्मीर का माहौल बिगड़ सकता था। पहले विपक्षी नेता के रूप में महबूबा ने पीएसए को लोकतंत्र के लिए काला धब्बा बताया था।
उनका कहना है कि मसर्रत के खिलाफ पीएसए लगाने का फैसला आने वाले समय में पर्यटन को ध्यान में रखकर किया गया है। एक टीवी चैनल को दिए साक्षात्कार में महबूबा ने कहा, 'हमने मसर्रत को रिहा किया।
आप जानते हैं कि हमें सुप्रीम कोर्ट के आदेश को लागू कराने में किस प्रकार के विरोध का सामना करना पड़ा। मसर्रत जिस भी विचारधारा का अनुसरण कर प्रचार करता है, उससे हमें कोई समस्या नहीं है। लेकिन हाफिज सईद की प्रशंसा करना ठीक नहीं था।'