Move to Jagran APP

18 साल बाद सेना के जवान का अंतिम संस्कार

शहादत के अट्ठारह साल बाद रणबांकुरे का शव गांव पहुंचा तो आंखें नम हो गईं। बर्फ में 18 साल तक मौत की नींद में सोए जांबाज सिपाही गया प्रसाद आखिर अपने गांव की मिंट्टी को आखिरी बार छूने के लिए पहुंच गए। सैन्य वाहन से जैसे ही शव उतरा माहौल भावपूर्ण हो गया। अमर शहीद के लिए नारे लगने लगे। हर कोई शहीद की एक झलक पा लेना चाहता था। देर रात तक ग्रामीणों का सैलाब उमड़ता रहा। शहीद का अंतिम संस्कार गुरुवार को किया जाएगा।

By Edited By: Published: Thu, 21 Aug 2014 12:40 AM (IST)Updated: Thu, 21 Aug 2014 12:12 PM (IST)
18 साल बाद सेना के जवान का अंतिम संस्कार

मैनपुरी। शहादत के अट्ठारह साल बाद रणबांकुरे गया प्रसाद का शव गांव पहुंचा तो सभी की आंखें नम हो गईं। बर्फ में क्8 साल तक दबे होने के बाद बुधवार को उनका पार्थिव शरीर अंतिम बार उनके गांव लाया गया। जहां गुरुवार को उनका अंतिम संस्‍कर पूरे राजकीय सम्मान के साथ कर दिया गया। अंतिम संस्कार में मुलायम सिंह यादव के भतीजे और बदायूं सांसद धर्मेद्र यादव भी मौजूद थे। बुधवार को शहीद के पार्थिव शरीर के गांव पहुंचने पर माहौल भावपूर्ण हो गया। अमर शहीद के लिए नारे लगने लगे। हर कोई शहीद की एक झलक पा लेना चाहता था। देर रात तक इस सपूत के दर्शनों के लिए ग्रामीणों का सैलाब उमड़ता रहा।

loksabha election banner

गौरतलब है कि 18 साल पूर्व सियाचिन में गयाप्रसाद स्नो स्कूटर फिसलने से पहाड़ की दरार में गिरकर बर्फ में दब गए थे। सेना ने उनकी काफी तलाश की लेकिन शव नहीं मिला था। चार दिन पूर्व ग्लेशियर से गया प्रसाद का शव सुरक्षित मिलने की खबर आई थी। बुधवार रात करीब 11.10 बजे आगरा स्थित सेना के हेडक्वार्टर से कैप्टन रमन कुमार, लेफ्टिनेंट संदीप त्यागी समेत 30 जवानों की टुकड़ी सेना की गाड़ी से शव लेकर गुबरिया गांव पहुंची। शहीद गया प्रसाद के आखिरी दर्शन के लिए शाम से ही आसपास के गांवों के लोग जमे हुए थे।

ताबूत में बंद शव गाड़ी से उतारा गया तो परिजन दौड़ पड़े। गया प्रसाद के वृद्ध पिता गजाधर अपने लाड़ले को देखने दौड़े। शहीद की पत्‍‌नी रामादेवी गश खाकर गिर गईं। ग्रामीण और नाते रिश्तेदारों ने किसी तरह उन्हें ढांढ़स बंधाया। शहीद सैनिक गया प्रसाद की बेटियां मीना और मंजू भी पिता का शव आने की सूचना पर गांव आ गई थीं।

पढ़े : मुठभेड़ में दो और आतंकी ढेर


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.