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सामूहिक दुष्कर्म के बाद हत्या के चार आरोपियों को फांसी की सजा

उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा जिले के लंगेट क्षेत्र में आठ साल पहले एक 13 वर्षीय स्कूली छात्रा की सामूहिक दुष्कर्म के बाद हत्या में लिप्त चार आरोपियों को शुक्रवार अदालत ने फांसी की सजा सुनाई। अदालत ने सजा का एलान करते हुए कहा कि यह अत्यंत जघन्य अपराध है। इसलिए

By Gunateet OjhaEdited By: Published: Fri, 24 Apr 2015 05:35 PM (IST)Updated: Fri, 24 Apr 2015 08:09 PM (IST)
सामूहिक दुष्कर्म के बाद हत्या के चार आरोपियों को फांसी की सजा

जागरण ब्यूरो, श्रीनगर। उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा जिले के लंगेट क्षेत्र में आठ साल पहले एक 13 वर्षीय स्कूली छात्रा की सामूहिक दुष्कर्म के बाद हत्या में लिप्त चार आरोपियों को शुक्रवार अदालत ने फांसी की सजा सुनाई। अदालत ने सजा का एलान करते हुए कहा कि यह अत्यंत जघन्य अपराध है। इसलिए चारों को सजा-ए-मौत दी जाती है। वहीं, दिवंगत छात्रा के परिजनों ने अदालत के फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि इससे अन्य अपराधियों को भी सबक मिलेगा।

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फांसी की सजा पाने वाले सादिक मीर उर्फ साडा चोर व अजहर अहमद मीर दोनों लंगेट कस्बे के निवासी हैं, जबकि अन्य दो आरोपियों में जहांगीर अंसारी पश्चिमी बंगाल और सुरेश कुमार उर्फ सुरेश मोची राजस्थान का रहने वाला है। इन चारों को इसी माह 18 अप्रैल को अदालत ने हत्या और सामूहिक दुष्कर्म का दोषी करार दिया था, लेकिन सजा का एलान दो बार स्थगित हुआ।

जिला कुपवाड़ा के सत्र न्यायाधीश मुहम्मद इब्राहिम वानी की अदालत में गत गुरुवार को इस मामले की सुनवाई हुई थी। सीनियर पब्लिक प्रॉसीक्यूटर गुलाम मुहम्मद शाह ने चारों दोषियों के लिए सजा-ए-मौत का आग्रह किया था।

दोनों पक्षों को सुनने के बाद सत्र न्यायाधीश ने सजा के एलान को शुक्रवार तक के लिए आरक्षित रखा था। आज सत्र न्यायाधीश ने सजा का एलान करते हुए कहा कि चारों आरोपियों को सजा-ए-मौत दी जाती है।


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