आरटीआइ से जशोदाबेन को नहीं मिली जानकारी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पत्नी की आरटीआइ आवेदन का जवाब देने से इनकार कर दिया गया है। जशोदाबेन सरकारी सुरक्षा से परेशान हैं और वह अपने अधिकारों के बारे में जानना चाहती थीं। इसी वजह से पिछले महीने उन्होंने गुजरात के मेहसाणा जिले के पुलिस अधीक्षक से आरटीआइ के तहत जानकारी
अहमदाबाद। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पत्नी की आरटीआइ आवेदन का जवाब देने से इनकार कर दिया गया है।
जशोदाबेन सरकारी सुरक्षा से परेशान हैं और वह अपने अधिकारों के बारे में जानना चाहती थीं। इसी वजह से पिछले महीने उन्होंने गुजरात के मेहसाणा जिले के पुलिस अधीक्षक से आरटीआइ के तहत जानकारी मांगी थी।
मेहसाणा पुलिस ने यह कहते हुए जानकारी देने से इनकार कर दिया कि यह स्थानीय खुफिया ब्यूरो (एलआइबी) से संबंधित है।
मेहसाणा जिला पुलिस अधीक्षक ने बताया कि जो जानकारी जशोदाबेन ने मांगी है वह स्थानीय खुफिया ब्योरो से संबंधित है। खुफिया ब्यूरो आरटीआइ के दायरे में नहीं आता है। इसलिए ये जानकारी उनको नहीं दी जा सकती। हमने इस घटनाक्रम के बारे में लिखित पत्र उन्हें भेज दिया है।
रिटायर्ड स्कूल टीचर की जिंदगी बसर कर रही जशोदाबेन गुजरात के ईश्वरवाड़ा गांव में अपने भाई अशोकभाई के साथ रहती हैं। अपनी आरटीआइ अर्जी में पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या का जिक्र करते हुए जशोदाबेन का कहना है कि उन्हें अपने सुरक्षा गार्ड्स से डर लगता है।
इससे पहले जशोदाबेन ने कहा था कि मुझे किस सरकारी ऑर्डर के तहत सुरक्षा दी गई है। मुझे यह प्रोटोकॉल क्यों मिला है? मुझे नियम के हिसाब से न्याय नहीं मिला है। यदि मुझे सिक्योरिटी दी गई है तो अन्य अधिकार भी मिलने चाहिए। उन्होंने कहा था कि मुझे सुरक्षा कवच की वजह से बहुत परेशानी होती है। मैं सरकारी बस में सफर करती हूं और मेरे साथ वाले सुरक्षाकर्मी कार में घूमते हैं।