अच्छा हुआ केजरीवाल से अलग हो गया, नहीं तो मेरी भी दुर्दशा होती: अन्ना हजारे
समाजसेवी अन्ना हजारे का अरविंद केजरीवाल से अब कोई ताल्लुक नहीं रहा। ये बात किसी और ने नहीं बल्कि खुद अन्ना हजारे कही है।
नई दिल्ली। सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने कहा है कि अच्छा हुआ उन्होंने अरविंद केजरीवाल का साथ छोड़ दिया। शंशाक उदापुरकर के निर्देशन में अपने जीवन पर बन रही फिल्म 'अन्ना' के पोस्टर लॉन्च के मौके उन्होंने कहा, ”यह अच्छा हुआ कि मैंने अरविंद का साथ छोड़ दिया, नहीं तो मेरी भी ऐसी ही दुर्दशा होती।”
फाइनेंशियल एक्सप्रेस के अनुसार, अन्ना हजारे ने कहा, ” अब मेरा अरविंद केजरीवाल से कोई रिश्ता नहीं है। मुझे नहीं पता क्या गलत है और क्या सही। लेकिन जब भी मैं अखबार में उसके बारे में पढ़ता हूं तो मुझे दुख होता है।” केजरीवाल के राजनीति में जाने के बाद अन्ना ने उनसे अपना नाता तोड़ लिया था। हालांकि, इसी साल जनवरी में अन्ना ने केजरीवाल की तारीफ भी की थी। उन्होंने कहा था 'केजरीवाल साफ चरित्र के और आदर्शवादी हैं।'
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आपको बता दें कि जनलोकपाल बिल के आंदोलन को लेकर अरविंद केजरीवाल अन्ना के सहयोगी थे और दोनों ने साथ मिलकर 2011 में दिल्ली के जंतर मंतर पर धरना दिया था, जिसमें किरण बेदी, संतोष हेगड़े, प्रशांत भूषण, कुमार विश्वास आदि शामिल थे। संचार साधनों के माध्यम से इस आंदोलन का प्रभाव समूचे भारत में फैल गया और इसके समर्थन में लोग सड़कों पर भी उतरने लगे। इन्होंने भारत सरकार से एक मजबूत भ्रष्टाचार विरोधी लोकपाल विधेयक बनाने की माँग की थी। हालांकि, बाद में इसमें से अधिकतर चेहरे सक्रिय राजनीति में आ गए थे।