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फर्जी निकली दो लाख करोड़ के कालेधन की घोषणा, IT विभाग ने किया खारिज

मुंबई के एक परिवार ने जब आइडीएस के तहत खुलासा कर दो लाख करोड़ रुपये कालाधन होने का दावा किया तो आयकर अधिकारी आश्चर्य चकित हो गए।

By Abhishek Pratap SinghEdited By: Published: Sun, 04 Dec 2016 04:30 PM (IST)Updated: Sun, 04 Dec 2016 08:50 PM (IST)
फर्जी निकली दो लाख करोड़ के कालेधन की घोषणा, IT विभाग ने किया खारिज

नई दिल्ली, (जागरण ब्यूरो)। देश में छिपे कालेधन को बाहर निकालने के लिए सरकार ने जब जून में 'आय घोषणा योजना 2016' शुरू की तो आयकर विभाग ने सोचा भी नहीं होगा कि उसे अघोषित आय के बारे में इतने बड़े आंकड़े सुनने को मिलेंगे।

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मुंबई के एक परिवार ने जब आइडीएस के तहत खुलासा कर दो लाख करोड़ रुपये कालाधन होने का दावा किया तो आयकर अधिकारी आश्चर्य चकित हो गए। उनका यह आश्चर्य अगले ही क्षण शक में बदल गया और जब जांच की तो पता चला कि कालेधन का यह खुलासा फर्जी है। इसी तरह अहमदाबाद के एक छोटे से कारोबारी ने भी 13,860 करोड़ रुपये कालाधन होने का दावा किया, जो जांच में झूठा पाया गया।

आयकर विभाग को कालेधन के संबंध में कई ऐसे झूठे दावे मिले जिसे विभाग ने आइडीएस के तहत हुए अघोषित आय के खुलासे के आंकड़ों में शामिल नहीं किया है। आयकर विभाग के अनुसार मुंबई में बांद्रा के एक फ्लैट में रहने वाले अब्दुल रजाक मोहम्मद सईद, उसकी पत्‌नी रुकसाना अब्दुल रजाक सईद और उनके बेटे मोहम्मद आरिफ अब्दुल रजाक सईद तथा बेटी नूरजहां मोहम्मद अब्दुल रजाक ने कुल 2,00,000 करोड़ रुपये कालाधन उनके पास होने का दावा आय घोषणा योजना के तहत किया।

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इस परिवार के चार सदस्यों में से तीन का पैन नंबर अजमेर के पते पर जारी हुआ है। यह परिवार सितंबर में मुंबई पहुंचा और वहीं आय घोषणा योजना के तहत खुलासा किया। इसी तरह अहमदाबाद निवासी महेश कुमार शाह ने 13,860 करोड़ रुपये कालाधन होने का दावा किया। आयकर विभाग को कालेधन के इन दावों के संबंध में शुरु से ही संदेह हुआ। यही वजह है कि वित्त मंत्री अरुण जेटली ने एक अक्टूबर को जब आय घोषणा योजना के तहत सामने आए कालेधन के कुल आंकड़े मीडिया को बताए तो इन दोनों खुलासों को इसमें शामिल नहीं किया गया।

वित्त मंत्रालय का कहा है कि सईद परिवार और शाह के दावों की जब आयकर विभाग ने जांच की तो पता चला कि इन लोगों का व्यवहार संदेहास्पद है और उन्होंने इस घोषणा का दुरुपयोग किया है। आखिरकार विभाग ने 30 नवंबर को तहकीकात करने के बाद इन सईद परिवार और शाह के कालेधन के खुलासे की घोषणा को खारिज कर दिया।

वित्त मंत्रालय का कहना है कि इसके बाद आयकर विभाग ने इतनी बड़े कालेधन का खुलासा करने वाले इन लोगों के खिलाफ जांच शुरु कर दी है। आयकर विभाग की कोशिश यह पता लगाने की है कि कालेधन के संबंध में इतनी बड़ी राशि होने का दावा करने की इनकी घोषणा के पीछे इरादा क्या था।

बहरहाल आयकर विभाग का कहना है कि इन बड़े चढ़े दावों से अलग आय घोषणा योजना 2016 के तहत 71,726 लोगों ने कुल 67,382 करोड़ रुपये कालेधन का खुलासा किया। यह आंकड़ा एक अक्टूबर को वित्त मंत्री अरुण जेटली के बताए आंकड़े से काफी अधिक है। जेटली ने बताया था कि आय घोषणा योजना में 64,275 लोगों ने 65,250 करोड़ रुपये का खुलाया किया है।

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