फेसबुक लगा सकता है सरकारी भ्रष्टाचार पर लगाम
इससे सरकारी भ्रष्टाचार के खिलाफ प्रदर्शन की संभावना ज्यादा रहती है। संक्षेप में, सोशल मीडिया, प्रेस के सहकर्मी के रूप में काम करता है।
वाशिंगटन, प्रेट्र : सूचना प्रौद्योगिकी के इस दौर में भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने में फेसबुक जैसा सोशल मीडिया प्लेटफार्म बहुत हद तक मददगार हो सिद्ध हो सकता है। विशेषकर उन देशों में जहां मीडिया के हाथ बंधे हैं। कुछ शोधकर्ताओं ने भारत में 2012 के भ्रष्टाचार विरोधी अभियान के दौरान सोशल मीडिया के प्रभाव का अध्ययन किया था। उसी में यह दावा किया गया है।
अमेरिका में वर्जीनिया पॉलीटेक्निक इंस्टीट्यूट एंड स्टेट यूनिवर्सिटी (वर्जीनिया टेक) के सुदीप्त सारंगी ने बताया कि 150 से अधिक देशों के आंकड़ों का उपयोग करते हुए उनका क्रास-कंट्री विश्लेषण दर्शाता है कि फेसबुक अधिकतर सार्वजनिक उपयोग का काम करता है। इससे सरकारी भ्रष्टाचार के खिलाफ प्रदर्शन की संभावना ज्यादा रहती है। संक्षेप में, सोशल मीडिया, प्रेस के सहकर्मी के रूप में काम करता है।
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सारंगी ने कहा, 'यह अध्ययन इंटरनेट पर स्वतंत्रता के महत्व को रेखांकित करता है क्योंकि दुनिया के बहुत से देशों में इस पर खतरा है।' जहां प्रेस को बहुत कम स्वतंत्रता मिली हुई है, उन देशों में फेसबुक सरकारी भ्रष्टाचार को कम करने में सहायक है। सारंगी के अनुसार, 'यह दिखाता है कि सोशल मीडिया भ्रष्टाचार पर नकारात्मक प्रभाव डालता है।'
सारंगी ने बताया कि शोध के दौरान चंदन कुमार झा ने आर्थिक, लोकतांत्रिक और सांस्कृतिक सहित अन्य नियंत्रित परिवर्तनशील कारणों पर विचार किया। शोधकर्ताओं ने 2011 में अरब क्रांति की शुरुआत को लेकर भी गहनता से जांच की। इन बड़े-बड़े विरोध प्रदर्शनों ने कई सरकारों को गिरा दिया था।