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मुश्किलों को दी मात, श्वेता अग्रवाल पहले बनीं IRS- IPS और अब IAS

सिविस सर्विस की परीक्षा में पश्चिम बंगाल की श्वेता अग्रवाल को 19 वीं रैंक हासिल हुई है। उनके पिता भद्रेश्वर इलाके में किराने की दुकान चलाते हैं।

By Lalit RaiEdited By: Published: Wed, 11 May 2016 11:31 AM (IST)Updated: Wed, 11 May 2016 02:53 PM (IST)
मुश्किलों को दी मात, श्वेता अग्रवाल पहले बनीं IRS- IPS  और अब IAS

कोलकाता। कुछ लोग परेशानियों के सामने घुटने टेक देते हैं। तो कुछ लोग परेशानियों को अपना हथियार बना लेते हैं। इसमें शक नहीं कि दिक्कतों के सामने इंसान का हौसला टूट जाता है। लेकिन सच ये भी है कि कठिन हालातों का सामना करके जो लोग मुकाम हासिल करते हैं। उनकी कामयाबी समाज के लिए नजीर बन जाती है। कोलकाता के भद्रेश्वर इलाके में गरीबी में पली-बढ़ीं श्वेता अग्रवाल उनमें से एक हैं। संघ लोक सेवा आयोग द्वारा जारी परिणाम में सिविस सेवा में 19वीं रैंक हासिल की हैं। और उनके आइएएस बनने का सपना पूरा हो गया है।

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IPS की ट्रेनिंग पर श्वेता अग्रवाल

श्वेता फिलहाल नेशनल पुलिस एकेडमी हैदराबाद में आइपीएस की ट्रेनिंग कर रही है। इससे पहले उनका चयन भारतीय राजस्व सेवा के लिए हुआ था। हालांकि उनका सपना आइएएस बनने का था। श्वेता ने अपनी कामयाबी पर कहा कि उन्हें एक तरफ खुशी है। तो दूसरी तरफ वो डर भी रही हैं। इसके पीछे की वजह के बारे में बताया कि रिजल्ट आने के कुछ दिनों पहले ही उन्होंने पश्चिम बंगाल कै़डर की गुजारिश की थी। लेकिन अब क्या होगा कुछ कह नहीं सकती हैं। अगर बंगाल कैडर मिलता है तो उन्हें बहुत ही खुशी होगी।

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मां-पिता का हौसला आया काम

श्वेता के माता-पिता सिर्फ दसवीं और बारहवीं पास हैं। वे किराने की छोटी सी दुकान चलाते हैं। श्वेता का कहना है कि घनघोर गरीबी के बाद भी वो उन्होंने पढाई के साथ समझौता नहीं किया। कोलकाता के बेहतर स्कूलों में उनका दाखिला हुआ। सेंट जोसेफ से सेंट जेवियर की यात्रा में श्वेता ने अर्थशास्त्र में स्नातक की डिग्री प्रथम श्रेणी में उत्तीर्ण की। श्वेता ने कहा कि वो बनिया समुदाय से आती हैं। उनके समाज से लड़कियों की शादी देर से नहीं की जाती है। लेकिन उनके पिता संतोष ने कभी इसकी परवाह नहीं की। और उन्हें पढ़ने का भरपूर मौका दिया।

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अंग्रेजी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया द्वारा पिछले कुछ वर्षों में किसी बंगाली उम्मीदवार द्वारा ये सर्वोच्च रैंक हासिल किया गया है। 2013 में कोलकाता की एक उम्मीदवार ने 84वीं रैंक हासिल की । श्वेता के अलावा बंगाल से पांच और उम्मीदवारों ने इस साल सिविल सेवा में कामयाबी हासिल की है।


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