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पहाड़ों पर हाड़ कंपाऊ ठंड तो मैदान में फैली कोहरे की चादर

पहाड़ों पर हो रही बर्फबारी का असर मैदानों में भी दिखाई देने लगा है। पर्वतीय इलाके तो विगत कई दिनों से शीत लहर की चपेट में चल रहे थे किंतु अब मैदानों में कोहरे ने अपनी चादर फैलानी शुरू कर दी है।

By Sachin BajpaiEdited By: Published: Mon, 30 Nov 2015 02:30 AM (IST)Updated: Mon, 30 Nov 2015 02:38 AM (IST)
पहाड़ों पर हाड़ कंपाऊ ठंड तो मैदान में फैली कोहरे की चादर

जेएनएन, नई दिल्ली । पहाड़ों पर हो रही बर्फबारी का असर मैदानों में भी दिखाई देने लगा है। पर्वतीय इलाके तो विगत कई दिनों से शीत लहर की चपेट में चल रहे थे किंतु अब मैदानों में कोहरे ने अपनी चादर फैलानी शुरू कर दी है। उत्तराखंड, जम्मू-कश्मीर तथा हिमाचल प्रदेश में गिरी बर्फ ने लोगों को ठिठुरने पर मजबूर कर दिया है। वहीं राष्ट्रीय राजधानी परिक्षेत्र में रविवार की सुबह घने कोहरे के साथ हुई। यहां पालम मौसम विज्ञान केंद्र पर सुबह साढे़ छह बजे दृश्यता 100 मीटर रह गई। कोहरे के चलते इस सीजन में दृश्यता के स्तर पर ये सबसे अधिक गिरावट है।

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कोहरे की मार व प्रदूषण के बढे़ स्तर के चलते दिल्ली में बने स्मॉग के कारण आदर्श दृश्यता का निर्धारित स्तर 15 सौ मीटर शाम साढे़ पांच बजे दर्ज हुआ। मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार अगले एक सप्ताह तक कोहरे का ऐसा ही कहर दिल्ली में देखने को मिलेगा। रविवार को दिल्ली में प्रदूषण का स्तर निर्धारित मानक से तीन गुना अधिक दर्ज हुआ।

उत्तराखंड में शुक्रवार को चोटियों पर हुई बर्फबारी और निचले इलाकों में हल्की बारिश के बाद पर्वतीय इलाकों में ठिठुरन बढ़ गई है। सर्द हवा के डेरा डालने से धूप की गर्माहट का अहसास भी नहीं हो रहा। मैदानी क्षेत्रों में भी सुबह-शाम ठंड का डेरा है। मौसम विभाग की मानें तो सोमवार को मौसम शुष्क रहेगा, लेकिन देहरादून, हरिद्वार व ऊधमसिंहनगर जनपदों में सुबह के वक्त कोहरा छाए रहने की संभावना है।

हिमाचल प्रदेश के ऊंचे पहाड़ी क्षेत्रों में पिछले दिनों हुए हिमपात व निचले क्षेत्रों में हुई बारिश के बाद प्रदेश के तीन मुख्य स्थानों का न्यूनतम तापमान जमाव बिंदु से भी नीचे लुढ़क गया है। पहाड़ों से ठंडी हवाएं चलने से समूचे राज्य में ठंड का प्रकोप बढ़ गया है। रविवार को राज्य के अधिकांश क्षेत्रों में धूप खिली रही लेकिन ठंडी हवाओं चलती रही।

बीते 24 घंटे के दौरान प्रदेश के अधिकतम तापमान में दो से तीन डिग्री सेल्सियस की गिरावट दर्ज की गई जबकि न्यूनतम तापमान में एक से दो डिग्री सेल्सियस कम रहा। न्यूनतम तापमान केलंग में माइनस 3.0 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया।

धुंध और कोहरे की मार से बेशक कश्मीर घाटी को निजात मिल गई है, लेकिन शीतलहर कम होने के बजाय और बढ़ने लगी है। श्रीनगर समेत वादी के विभिन्न हिस्सों में रात का न्यूनतम तापमान जमाव बिंदु के नीचे चला गया है। बीती रात (शनिवार-रविवार की मध्यरात्रि) पहलगाम में न्यूनतम तापमान शून्य से नीचे -3.7 डिग्री सेल्सियस पर पहुंच गया, लेह में न्यूनतम तापमान -8.5 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया है। अलबत्ता, श्रीनगर में रात का न्यूनतम तापमान जमाव बिंदु से नीचे -0.9 डिग्री सेल्सियस रहा है।

कोहरे से बिगड़ने लगी ट्रेनों की चाल

कोहरे की वजह से ट्रेनों की चाल भी बिगड़ने लगी है। कई ट्रेनें घंटों देरी से गंतव्य स्थल तक पहुंची, इस कारण कई ट्रेनों के प्रस्थान समय में भी बदलाव करना पड़ा। ज्यादा परेशानी पूर्व दिशा की ओर से आने वाली ट्रेनों को हुई। पुरानी दिल्ली से रक्सौल के बीच चलने वाली सद्भावना एक्सप्रेस लगभग साढ़े छह घंटे की देरी से रवाना हुई। रेलवे अधिकारियों का कहना है कि अभी कोहरा बहुत घना नहीं है। इसलिए रेल परिचालन पर बहुत ज्यादा असर नहीं पड़ा है।

रविवार को देरी से रवाना होने वाली ट्रेनें

ट्रेन रवाना होने में हुई देरी

नई दिल्ली -जबलपुर श्रीधाम एक्सप्रेस 1.30 घंटे

कालका-हावड़ा एक्सप्रेस 1.30 घंटे

आनंद विहार-भागलपुर विक्रमशिला एक्सप्रेस 2.15 घंटे

नई दिल्ली-लखनऊ गोमती एक्सप्रेस 1.05 घंटे

नई दिल्ली-न्यू जलपाईगुड़ी एक्सप्रेस 2.25 घंटे

स्वतंत्रता सेनानी एक्सप्रेस 4.15 घंटे

दिल्ली-डिब्रुगढ़ ब्रह्मपुत्र एक्सप्रेस 3 घंटे

आनंद विहार-कानपुर सेंट्रल एक्सप्रेस 1.40 घंटे

आगरा इंटरसिटी एक्सप्रेस 1.15 घंटे

दिल्ली सराय रोहिल्ला-फिरोजपुर इंटरसिटी एक्सप्रेस 1.30 घंटे


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