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मोदी ने काला धन को वैश्विक शांति के लिए खतरा बताया

नई दिल्ली।विदेशी बैंकों में जमा काला धन स्वदेश वापस लाने के लिए कृतसंकल्प प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसे वैश्विक शांति और सद्भाव के लिए बड़ा खतरा बताया है। उनकी नजर में काला धन आतंकवाद की जननी है। पीएम ने लोकतांत्रिक देशों का आह्वान किया कि वे इस बुराई के खिलाफ

By Kamal VermaEdited By: Published: Fri, 21 Nov 2014 08:27 PM (IST)Updated: Sat, 22 Nov 2014 08:43 AM (IST)
मोदी ने काला धन को वैश्विक शांति के लिए खतरा बताया

नई दिल्ली।विदेशी बैंकों में जमा काला धन स्वदेश वापस लाने के लिए कृतसंकल्प प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसे वैश्विक शांति और सद्भाव के लिए बड़ा खतरा बताया है। उनकी नजर में काला धन आतंकवाद की जननी है। पीएम ने लोकतांत्रिक देशों का आह्वान किया कि वे इस बुराई के खिलाफ साझा अभियान छेड़ें क्योंकि यह किसी एक देश की समस्या नहीं है।

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विश्व समुदाय ने हमारी बात मानी

प्रधानमंत्री मोदी ने अपने ब्लॉग के जरिये उपरोक्त टिप्पणी की है। तीन देशों के दौरे से लौटने के अगले दिन शुक्रवार को पीएम ने अपने ब्लॉग में लिखा कि भारत ने काला धन के अस्तित्व और उसकी वापसी का मुद्दा विश्व समुदाय के समक्ष बखूबी से उठाया। उनका इशारा आस्ट्रेलिया में जी-20 शिखर सम्मेलन के दौरान भारत को काले धन के खिलाफ मुहिम में मिली बड़ी सफलता की ओर था। बकौल मोदी, 'मैं खुश हूं कि विश्व समुदाय ने काले धन की समस्या को गंभीरता से लिया और हमारी बात पर हामी भरी। हम कामयाब हुए।'

नहीं तो होगी बर्बादी

अपने ब्लॉग में प्रधानमंत्री ने आगाह किया, 'अगर काले धन के खिलाफ निर्णायक लड़ाई नहीं छेड़ी गई तो इसमें वैश्विक शांति और सद्भाव को खत्म करने की क्षमता है। काला धन सब कुछ बर्बाद कर देगा। यह अपने साथ आतंकवाद के साथ-साथ मनी लांड्रिंग और मादक पदार्थो की तस्करी को भी बढ़ावा देती है। एक तरह से यह सारी वैश्विक बुराइयों की जननी है।' उन्होंने कहा, 'लोकतांत्रिक देशों का कानून के राज में भरोसा है। लिहाजा यह हम सबकी साझा जिम्मेदारी है कि इस बुराई के खिलाफ निर्णायक लड़ाई छेड़ें। इसलिए काले धन के मुद्दे को उठाने के लिए जी-20 शिखर सम्मेलन से बेहतर कोई मंच हो ही नहीं सकता था।'

दुनिया भारत की ओर देख रही

मोदी अपने दस दिवसीय विदेश दौरे में पांच सम्मेलनों में भाग लेने के अलावा दुनिया भर के 38 नेताओं से मिले। म्यांमार, आस्ट्रेलिया और फिजी के दौरे से लौटे पीएम ने कहा, 'मैंने एक बात महसूस किया कि दुनिया भारत की ओर बड़े आदर और बेहद उत्साह के साथ देख रही है। मैंने देखा कि विश्व समुदाय हमारे साथ संबंध बनाने का इच्छुक है।'

पढ़ें: कालेधन पर मोदी का दोहरा मापदंड


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