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संसद में उठा बिहार के अकाल का मुद्दा

संसद के शून्यकाल में बिहार के सांसद मुखर रहे। पाटलिपुत्र के सांसद रामकृपाल यादव ने जहां राज्य में अकाल और पानी की कमी का मुद्दा उठाया, वहीं हुकुमदेव नारायण यादव ने राजेंद्र प्रसाद कृषि विश्वविद्यालय को केंद्रीय विश्वविद्यालय का दर्जा देने की मांग की। सासाराम के सांसद छेदी पासवान बनारस से औरंगाबाद के बीच राष्ट्रीय राजमार्ग के चौड़ीकरण किए बिना ही ठेकेदार द्वारा टोल वसूलने का मुद्दा उठाया।

By Edited By: Published: Fri, 25 Jul 2014 08:48 PM (IST)Updated: Sat, 26 Jul 2014 07:12 AM (IST)
संसद में उठा बिहार के अकाल का मुद्दा

नई दिल्ली [जागरण ब्यूरो]। संसद के शून्यकाल में बिहार के सांसद मुखर रहे। पाटलिपुत्र के सांसद रामकृपाल यादव ने जहां राज्य में अकाल और पानी की कमी का मुद्दा उठाया, वहीं हुकुमदेव नारायण यादव ने राजेंद्र प्रसाद कृषि विश्वविद्यालय को केंद्रीय विश्वविद्यालय का दर्जा देने की मांग की। सासाराम के सांसद छेदी पासवान बनारस से औरंगाबाद के बीच राष्ट्रीय राजमार्ग के चौड़ीकरण किए बिना ही ठेकेदार द्वारा टोल वसूलने का मुद्दा उठाया।

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शून्यकाल में मध्य बिहार में अकाल का मुद्दा उठाते हुए रामकृपाल यादव ने कहा कि सोन प्रणाली की नहरों में पानी नहीं आने से नौ जिलों की स्थिति और भयावह हो गई है। इस प्रणाली में पानी मध्यप्रदेश के बाणसागर डैम से आता है। 1973 में इसके लिए बिहार और मध्य प्रदेश सरकार के बीच समझौता हुआ था। लेकिन इस बार बाणसागर डैम से पानी नहीं आ रहा है। उन्होंने जल संसाधन मंत्री उमा भारती से मध्यप्रदेश से बिहार को पानी उपलब्ध कराने का आग्रह किया। जबकि बक्सर से सांसद अश्विनी चौबे ने उत्तरप्रदेश के रिहंद बांध से बिहार के इंद्रपुरी जलाशय में पानी उपलब्ध कराने और इसके लिए बक्सर-कोइलवर तटबंध के तत्काल मरम्मती की मांग की।

सीवान के सांसद ओमप्रकाश यादव ने ममता बनर्जी के रेलमंत्री रहने के दौरान घोषित मांझी रेलवे स्टेशन से लार रेलवे स्टेशन तक नई रेल लाइन बिछाने के काम में तेजी लाने की मांग की। उनका कहना था कि इस लाइन का सर्वे पूरा होने के बाद काम ठप हो गया है।

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