श्रमजीवी विस्फोट कांड में ओबैदुर्रहमान भी दोषी करार
श्रमजीवी विस्फोट कांड के आरोपी ओबैदुर्रहमान को अदालत ने हत्या व हत्या की साजिश रचने का दोषी ठहराया है। उसकी सजा का एेलान आज किया जाएगा।
जौनपुर (जागरण संवाददाता)। श्रमजीवी विस्फोट कांड के एक और आरोपी ओबैदुर्रहमान उर्फ बाबू भाई को भी अदालत ने हत्या व हत्या की साजिश रचने के आरोप में मंगलवार को दोषी करार दिया। उसे बिना वीजा, पासपोर्ट के बांग्लादेश से भारत में प्रवेश करने तथा विस्फोटक बनाने का भी आरोपी पाया गया। इस मामले में सजा का निर्धारण 31 अगस्त को किया जाएगा।
अभियोजन के अनुसार ओबैदुर्रहमान पर मुठभेड़ में मारे जा चुके आरोपी यहिया खान के साथ विस्फोट के एक दिन पहले पटना के खुसरूपुर में अन्य आरोपियों की मदद से सामान खरीदकर बम बनाने का आरोप है। इस बम को अभियुक्त हिलाल व रोनी ने ट्रेन में रखकर विस्फोट कराया था। आरोपियों को बम देकर वह बांग्लादेश चला गया। वहां हुए सीरियल ब्लास्ट के बाद भागकर भारत आया, पं. बंगाल के रघुनाथगंज में फारनर्स एक्ट में गिरफ्तार कर मुर्शिदाबाद के बरहामपुर जेल लाया गया।
श्रमजीवी ट्रेन धमाके से जुड़ी सभी खबरों को पढ़नेे के लिए क्लिक करें
कोलकाता में गिरफ्तार अब्दुल्ला, तारिक व नूर मोहम्मद के बयान से ओबैदुर्रहमान का नाम श्रमजीवी विस्फोट कांड में सामने आया। इसी तफ्तीश के दौरान यह बात भी सामने आई कि वह लश्कर ए तोएबा व आइएसआइ के लिए भी काम करता था। विवेचक के बयान में भी उसने यह कहा कि भारत में आतंक फैलाने के उद्देश्य से श्रमजीवी एक्सप्रेस में विस्फोट कराया गया था। इसी मामले में मुख्य आरोपी रोनी को 30 जुलाई को फांसी की सजा दी जा चुकी है। इस वारदात के दो आरोपी हिलाल और नफीकुल विश्वास हैदराबाद की चंचलगुड़ा जेल में बंद हैं।
यह घटना 28 जुलाई 2005 को लखनऊ वाराणसी रेल प्रखंड पर स्थित हरिहरपुर रेलवे क्रा¨सग के पास हुई थी। इस आतंकी विस्फोट में 12 लोगों की जान गई थी जबकि 60 लोग घायल हुए थे।