होटल में तब्दील होगा भारतीय युद्धक पोत INS Viraat
भारतीय नौसेना में 60 साल की सेवा के बाद INS Viraat को होटल बनाया जा सकता है। गौरतलब है कि यह युद्धपोत छह दशकों से भारतीय नौसेना में विमानवाहक पोत के रूप में सेवा दे रहा है और इस साल डी-कमीशन कर दिया जाएगा।
मल्टीमीडिया डेस्क। भारतीय नौसेना में 60 साल की सेवा के बाद INS Viraat को होटल बनाया जा सकता है। गौरतलब है कि यह युद्धपोत छह दशकों से भारतीय नौसेना में विमानवाहक पोत के रूप में सेवा दे रहा है और इस साल डी-कमीशन कर दिया जाएगा।
नौसेना से डी-कमीशन होने के बाद, दुनिया के इस सबसे पुराने विमानवाहक पोत में होटल में बदला जा सकता है। आंध्रप्रदेश के मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू ने रक्षामंत्रालय से ऐसा करने की अनुमति मांगी थी, जिस पर मंत्रालय ने सकारात्मक जवाब दिया है।
इस पोत को होटल में बदलने तथा संचालन की जिम्मेदारी आंध्रप्रदेश सरकार की रहेगी। माना जा रहा है कि विराट में 500 कमरों का होटल बनाया जा सकता है। हालांकि अभी यह तय नहीं है कि इसे कहां रखा जाएगा, लेकिन उम्मीद जताई जा रही है कि इसे विशाखापट्टनम में रखा जा सकता है। ऐसा इसलिए क्योंकि देश का इकलौता पनडुब्बी संग्रहालय भी इसी शहर में है।
उल्लेखनीय है कि सोवियत संघ द्वारा बनाई गई पनडुब्बी आईएनएस कुरसुरा को डी-कमीशन होने के बाद 2002 में विशाखापट्टनम के रामकृष्ण मिशन समुद्र तट पर संग्रहालय बना दिया गया था। दक्षिण एशिया के इस पहले पनडुब्बी संग्रहालय को देखने के लिए हर साल औसतन 270,000 आगंतुक आते हैं।
आईएनएस विराट
- फिलहाल आईएनएस विराट अपनी अंतिम ऑपरेशनल टूर ड्यूटी पर है और हाल ही में संपन्न हुई इंटरनेशनल फ्लट रिव्यू में भी इसे शामिल किया गया था।
- 28,700-टन वजनी इस विमानवाहक पोत को इसकी सेवा के 57 वर्ष बाद रिटायर किया जा रहा है। भारतीय नौसेना में इसने 29 वर्ष सेवाएं दी हैं।
- मूलरूप में ब्रिटिश केंटॉर कॅरियर नाम के इस युद्धक पोत को 12 मई 1987 को भारतीय नौसेना में शामिल किया गया था।
- पश्चिमी कमांड का यह पोत भारतीय नौसेना का अंतिम ब्रिटिश जहाज है। इसमें 26 लड़ाकू विमान और हेलिकॉप्टर्स को रखा जा सकता है।
- 16 सी-हैरियर्स और सी किंग तथा चेतक हेलिकॉप्टर भी इस पर तैनात रहते हैं।
- भारतीय नौसेना के पास दो विमानपोहक हैं, जिनमें से आईएनएस विराट भी है। दूसरे जहाज का नाम आईएनएस विक्रमादित्य है जिसे 2013 में नौसेना में शामिल किया गया है।
बाद में इसे बेचने का निर्णय किया गया और दोपहिया वाहन निर्माता कंपनी बजाज ऑटो लिमिटेड ने इसे खरीदकर इसके स्टील से V नाम की मोटरसाइकिल को बनाकर लॉन्च किया है।
साभारः नई दुनिया