गीता के बाद अब सलमान की बारी
गीता की वापसी ने भारत और पाकिस्तान के बीच इस तरह के फंसे सैकड़ों लोगों की कहानी को एक बार फिर सामने ला दिया है। विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने बताया कि हमें सूचना मिली है कि अलीगढ़ का एक बच्चा सलमान पाकिस्तान में...
नई दिल्ली। गीता की वापसी ने भारत और पाकिस्तान के बीच इस तरह के फंसे सैकड़ों लोगों की कहानी को एक बार फिर सामने ला दिया है। विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने बताया कि हमें सूचना मिली है कि अलीगढ़ का एक बच्चा सलमान पाकिस्तान में फंसा हुआ है। उसे उसके माता पिता ने पाकिस्तान स्थित नाना नानी के पास छोड़ दिया था। अब नाना नानी की मौत हो चुकी है और वह भारत लौटना चाहता है। भारतीय उच्चायोग इस बारे में और सूचना हासिल कर रहा है।
स्वराज ने बताया कि, 'भारत और पाकिस्तान के जेल में एक दूसरे देशों के कई ऐसे लोग बंद हैं जो मानसिक तौर पर अस्वस्थ हैं। हम उनकी रिहाई को लेकर बातचीत कर रहे हैं।' कुछ दिन पहले सुप्रीम कोर्ट में को भारत सरकार ने बताया है कि भारतीय जेल में मानसिक तौर पर अस्वस्थ 21 पाकिस्तानी कैदी थे। इनमें से सात को वापस भेजा जा चुका है और शेष को भेजने की प्रक्रिया जारी है। उधर, पाकिस्तान ने गीता की घर वापसी के बाद भारत से आग्रह किया है कि वह भारतीय जेलों में बंद 459 पाकिस्तानी कैदियों को छोड़ने की प्रक्रिया शुरु करे।
सनद रहे कि दोनों देश एक दूसरे के जेल में सामान्य नागरिकों के साथ ही युद्धबंदियों के बंद होने का मुद्दा उठाते रहते हैं। पाकिस्तानी जेल में बंद सरबजीत सिंह का मुद्दा तो भारत में काफी सुर्खियों में रहा। कुछ साल पहले कैद में ही मार डाला गया। इस तरह के हमले भारतीय जेल में बंद पाकिस्तानी कैदियों पर भी होते रहते हैं। एक पाकिस्तानी कैदी की मौत जम्मू जेल में हो गई थी।
ईधी फाउंडेशन को पीएम से एक करोड़
नई दिल्ली। स्वदेश लौटी गीता सोमवार शाम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिली। विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के साथ गीता और ईधी फाउंडेशन के कुछ प्रतिनिधि पीएम मोदी से मिले। उसके थोड़ी ही देर बाद पीएम ने गीता का पाकिस्तान में ख्याल रखने वाली गैर सरकारी संगठन ईधी फाउंडेशन के लिए एक करोड़ रुपये के अनुदान की भी घोषणा की।
पीएम ने गीता का स्वागत किया और उसका पूरा ख्याल रखने का वादा किया। साथ ही उन्होंने ईधी फाउंडेशन को दयालुता का दूत करार दिया। मोदी ने कहा कि ईधी फाउंडेशन ने जो काम किया है कि वह बेशकीमती है, उसे पैसों में नहीं तोला जा सकता। मोदी को जब यह बता चला कि गीता के साथ भारत आई ईधी फाउंडेशन की बिलकिस ईधी का जन्म गुजरात के जूनागढ़ में हुआ है तो उन्होंने सपरिवार वहां आने व घूमने का निमंत्रण दिया।
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