श्रीसंत के प्रतिबंध के मामले में बीसीसीआइ ने नरमी दिखाई
बीसीसीआइ ने आइपीएल स्पॉट फिक्सिंग मामले में प्रतिबंधित क्रिकेटर्स के मामले में थोड़ी नरमी दिखाते हुए कहा कि इनके मामले में फिर से विचार किया जा सकता है।
नई दिल्ली। बीसीसीआइ ने आइपीएल स्पॉट फिक्सिंग मामले में प्रतिबंधित क्रिकेटर्स के मामले में थोड़ी नरमी दिखाते हुए कहा कि इनके मामले में फिर से विचार किया जा सकता है।
गौरतलब है कि 2013 आइपीएल स्पॉट फिक्सिंग मामले में शनिवार को दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने सबूतों के अभाव में क्रिकेटर्स एस. श्रीसंत, अजीत चंदिला व अंकित चव्हाण समेत सभी 36 लोगों को बरी कर दिया था। कोर्ट द्वारा बरी किए जाने के बावजूद बीसीसीआई ने श्रीसंत और चव्हाण पर लगे आजीवन प्रतिबंध को हटाने से इंकार कर दिया था। केरल क्रिकेट एसोसिएशन (केसीए) ने श्रीसंत पर से प्रतिबंध हटाने के लिए बीसीसीआइ अध्यक्ष जगमोहन डालमिय और सचिव अनुराग ठाकुर को पत्र लिखा है।
बोर्ड सचिव अनुराग ठाकुर से जब श्रीसंत व चव्हाण पर बैन हटाने के बारे में पूछा गया तो उन्होंने अपने रूख में नरमी दिखाते हुए कहा कि इस विषय पर चर्चा हो सकती है। यदि कोई सदस्य या राज्य इकाई इस बारे में बात करना चाहता है तो हम बैठक में इस पर अवश्य चर्चा करेंगे। चूंकि यह अनुशासनात्मक समिति ने लिया था, इसलिए अब यदि यह मामला सामने आता है तो इस पर अगली कार्यकारी समिति की बैठक में चर्चा की जाएगी।
गौरतलब है कि एस. श्रीसंत 14 अक्टूबर 2013 को एन. श्रीनिवासन, अरूण जेटली और रवि सवानी की बीसीसीआइ की अनुशासनात्मक समिति के सामने अपना पक्ष रखने को उपस्थित हुए थे, लेकिन एक घंटे बाद ही वे कमरे से बाहर आ गए थे। उन्होंने इस कमेटी पर विश्वास जताया था, जिसने बाद में उन पर आजीवन प्रतिबंध लगा दिया। दो साल बाद कोर्ट द्वारा श्रीसंथ और कंपनी को बरी किए जाने के फैसले को दो घंटे के अंदर बीसीसीआइ ने विज्ञप्ति जारी कर यह कह दिया था इन क्रिकेटर्स पर लगा बैन जारी रहेगा।