एटीएम कार्ड की सुरक्षा में सेंध ने दिया पीएम मोदी के कैशलेस प्लान को बड़ा झटका
देश के 32 लाख खाताधारकों के एटीएम कार्ड की सुरक्षा में सेंध ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कैशलेस प्लान को बड़ा झटका दे दिया है।
नई दिल्ली: देश के 32 लाख खाताधारकों के एटीएम कार्ड की सुरक्षा में सेंध ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कैशलेस प्लान को बड़ा झटका दे दिया है। गौरतलब है कि हाल ही में मालवेयर अटैक के कारण व्हाइट लेवल एटीएम से लोगों के एटीएम कार्ड में सेंधमारी कर जानकारियां चुरा ली गई थीं।
ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट के मुताबिक पीएम ने बीते मई में 'मन की बात' के दौरान कैशलेस पेमेंट को बढ़ावा देने की बात कही थी। पीएम ने उस वक्त कहा था कि इससे भ्रष्टाचार पर काफी हद तक अंकुश लगाने में मदद मिलेगी और पैसे के फ्लो को ट्रैक भी किया जा सकेगा। लेकिन एटीएम कार्ड से जुड़े इतने बड़े फ्रॉड के बाद कैशलेस पेमेंट की योजना सवालों के घेरे में आ गई है। गौरतलब है कि 19 बैंक इस तरह के फ्रॉड के जरिए लोगों के खाते से पैसा निकाले जाने की बात मान चुके हैं।
पैसा गंवाने वाले कस्टमर्स को पैसा लौटा सकते हैं बैंक!
देश के 32 लाख एटीएम डेटा चोरी होने के बाद वित्त मंत्रालय और भारतीय रिजर्व बैंक सतर्क हो गए हैं। इन दोनों ने बैंकों से इस संबंध में रिपोर्ट तलब की है। आरबीआई ने बैंकों से कहा है कि वो यह बताएं कि कितने खाता धारकों का डेटा चोरी हुआ है और उनमे से कितने पैसे निकाले गए हैं। मंत्रालय ने आरबीआई और नेशनल पेमेंट कार्पोरेशन ऑफ इंडिया (एनपीसीआई) से डेबिट कार्ड का डेटा चोरी होने के संबंध में एक विस्तृत रिपोर्ट सौंपने को कहा है। वहीं इस घटना के बाद बैंकों की फंक्शनिंग एक बड़ी चिंता का विषय बन गई है।
एसबीआई, एचडीएफसी बैंक, आईसीआईसीआई बैंक, ऐक्सिस बैंक और यस बैंक अपने ऐसे कस्टमर्स या दूसरे बैंकों को पैसा रिफंड करने पर विचार कर रहे हैं, जिन्हें बैंक के डेटा में साइबर सेंध लगने से नुकसान हुआ हो।
इकोनॉमिक टाइम्स में छपी खबर के मुताबिक साइबर सेंध से प्रभावित एक बैंक के बैंकर ने बताया, 'हो सकता है कि किसी ने बैंक ए का डेबिट कार्ड बैंक बी के एटीएम से पैसा निकालने में किया हो। हम पैसा गंवाने वाले कस्टमर्स को हफ्ते भर में रीइंबर्स करेंगे। हम दूसरे बैंकों से भी बात कर रहे हैं कि उनसे किस तरह रीइंबर्स कराया जा सकता है।'