बुलढाणा आश्रम में 12 नाबालिगों से रेप, 3 लड़कियां हुईं गर्भवती
महाराष्ट्र के बुलढाणा में नाबालिग से रेप केस में पुलिस ने 11 लोगों को गिरफ्तार किया है।
मुंबई। महाराष्ट्र के बुलढाणा में आश्रम स्कूल की नाबालिग आदिवासी लड़कियों से दुष्कर्म के मामले का भंडाफोड़ हुआ है। स्कूल के चेयरमैन, प्राचार्य समेत 11 लोगों को गिरफ्तार किया गया। मामले की जांच के लिए विशेष जांच दल (एसआइटी) का गठन किया गया है। इसके साथ ही राज्य सरकार ने स्कूल की मान्यता भी खत्म कर दी है।
सरकारी अनुदान प्राप्त निनादी आश्रम के आवासीय विद्यालय की छात्राएं दीवाली की छुट्टी में अपने घर गई थीं। इसी दौरान तीन छात्राओं के गर्भवती होने का पता चला। छात्राओं की माताओं ने यह जानकारी गांव की महिला उपसरपंच बुलेस्तरनी सती भोंसले को दी। गांव महाराष्ट्र के पूर्व वरिष्ठ मंत्री एकनाथ खड़से के विधानसभा क्षेत्र मुक्ताईनगर में आता था, इसलिए उपसरपंच ने खड़से से मदद करने की गुहार लगाई।
खड़से ने सरकार के वरिष्ठ मंत्री पांडुरंग फुंडकर को जानकारी दी। इसके बाद प्रशासन हरकत में आया। आदिवासी कल्याण मंत्री विजय सावरा ने बताया कि स्कूल के चार सौ छात्र, छात्राओं को अन्य निकटवर्ती स्कूलों में भेजा जाएगा। हालांकि अभी तक प्राथमिकी सिर्फ एक लड़की की तरफ से दर्ज कराई गई लेकिन माना जा रहा है कि एक दर्जन से अधिक लड़कियां दुष्कर्म की शिकार हुई।
लड़की की प्राथमिकी के आधार पर 23 वर्षीय मुख्य आरोपी सहित कुल 13 लोगों के विरुद्ध दुष्कर्म, मामले को छिपाने एवं प्रोटेक्शन ऑफ चिल्डे्रन फ्रॉम सेक्सुअल ओफेंसेज (पॉक्सो) एवं एससी-एसटी एट्रॉसिटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर 11 को गिरफ्तार कर लिया है। दो की तलाश जारी है। गिरफ्तार किए गए लोगों में आश्रम स्कूल के चेयरमैन, प्राचार्य, ट्रस्टी , सचिव, सुरक्षा गार्ड एवं कई अध्यापक शामिल हैं। मुख्य आरोपी वहां का चपरासी है। इससे पहले पुलिस ने 15 लोगों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री फड़नवीस ने दिल्ली में कहा कि किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने कहा कि एक महिला आइपीएस अधिकारी को मामले की जांच के लिए नियुक्त किया गया है। सरकार से मदद पाने वाले सभी स्कूलों की जांच का आदेश भी दे दिया गया है।
राज्य के पुलिस महानिदेशक सतीश माथुर का कहना है कि गांव की महिला उपसरपंच से जानकारी मिलते ही पुलिस ने तुरंत कार्रवाई की। मामले की गहराई से जांच के लिए एसआइटी का गठन भी कर दिया गया है। स्कूल खुलते ही एसआइटी सभी बच्चों से पूछताछ कर आगे कार्रवाई करेगी।
पीड़ित लड़कियों की उम्र 12 से 14 वर्ष के बीच बताई जा रही है। बुलढाणा जिले के संरक्षक मंत्री पांडुरंग फुंडकर के अनुसार उक्त आश्रमशाला एक स्थानीय राजनीतिज्ञ द्वारा चलाई जा रही है, जिसे राज्य सरकार अनुदान देती है। महाराष्ट्र में ऐसे 1000 से ज्यादा आवासीय स्कूल हैं जिनमें 4.45 लाख विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण करते हैं। इनमें 1.99 लाख लड़कियां हैं।