मुंबई की नाबालिग दुष्कर्म पीडि़ता के नवजात की मौत
नाबालिग ने शुक्रवार को यहां सिजेरियन ऑपरेशन के जरिये एक लड़के को जन्म दिया था। रविवार रात साढ़े दस बजे के करीब उसकी मृत्यु हो गई।
मुंबई, प्रेट्र। महानगर की तेरह वर्षीय दुष्कर्म पीडि़ता के नवजात शिशु ने जन्म लेने के 48 घंटों के भीतर ही अस्पताल में दम तोड़ दिया। सुप्रीम कोर्ट ने पिछले सप्ताह चिकित्सकीय आधार पर उसे 32 सप्ताह के गर्भ को गिराने की इजाजत दी थी। लेकिन नाबालिग ने शुक्रवार को यहां सिजेरियन ऑपरेशन के जरिये एक लड़के को जन्म दिया था। नवजात का वजन केवल 1.8 किलोग्राम था। रविवार रात साढ़े दस बजे के करीब उसकी मृत्यु हो गई।
समयपूर्व जन्मे इस नवजात को यहां जेजे अस्पताल के नियोनेटल (नवजात शिशु संबंधी) इंटेंसिव केयर यूनिट में रखा गया था। बाद में स्थिति और गंभीर होने पर बच्चे को ऑक्सीजन मशीन से हटाकर वेंटीलेटर पर रख दिया गया था। नाबालिग अब भी अस्पताल में भर्ती है और स्त्री रोग विशेषज्ञ अशोक आनंद उसका इलाज कर रहे हैं। मुंबई की रहने वाली इस पीडि़ता को अपने गर्भपात के लिए उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखटाना पड़ा था।
मेडिकल टर्मिनेशन ऑफ प्रेग्नेंसी कानून के सेक्शन 3(2) बी के तहत 20 हफ्ते की गर्भावस्था के बाद गर्भपात कराना अपराध है। जस्टिस दीपक मिश्रा के नेतृत्व वाली सुप्रीम कोर्ट पीठ ने गत 6 सितंबर को नाबालिग के गर्भपात का आदेश दिया था। पीडि़ता से पिता के एक सहयोगी ने दुष्कर्म किया था जिसके बाद वह गर्भवती हो गई थी।
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