मप्र को सिंगापुर बनाना है तो जापान पर करें फोकस
भोपाल [ब्यूरो]। मध्य प्रदेश को यदि आप सिंगापुर बनाना चाहते हैं, तो आपको जापान पर फोकस करना होगा। साथ ही प्रदेश में समृद्धि लाने के लिए आपको युवाओं को ज्यादा से ज्यादा नौकरियां देना होंगी। यह बात सिंगापुर के एमेरिटस सीनियर एडवाइजर तथा पूर्व प्रधानमंत्री गोह चोक टोंग ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से कही।
उन्होंने कहा कि हमारा तो छोटा सा देश है, हमारी आबादी मुश्किल से 3 करोड़ होगी। इसके बावजूद आपने हमें प्रदेश को सिंगापुर की तर्ज पर विकसित करने के लिए मेंटर बनाया यह हमारे लिए गर्व की बात है।
इस दौरान मुख्यमंत्री शिवराज ने कहा कि मैं मप्र को केवल भौतिक सुख-सुविधाओं वाला नहीं, बल्कि मन और बुद्धि को सुख देने वाला राज्य बनाना चाहता हूं। उन्होंने कहा कि दिल्ली की तर्ज पर सिंगापुर प्रदेश में वोकेशनल ट्रेनिंग सेंटर स्थापित करने के साथ में अधोसंरचना और योजना के संबंध में विशेषज्ञ सहायता कर सकता है।
मुख्यमंत्री ने टोंग से कहा कि आपने एक साल पहले राष्ट्रीय दिवस पर अच्छी सरकार के लिए चार बातें नेतृत्व, सुशासन, जनता के बीच सामंजस्य और जनता तथा सरकार के बीच आत्मीयता का उल्लेख किया था। उन्होंने कहा कि मप्र में इन चारों को लागू किया जा रहा है।
पूर्व प्रधानमंत्री टोंग ने कहा कि जापानी किसी भी देश में एकदम निवेश नहीं करते। शुरुआत में वे लोग धीरे-धीरे आते हैं, लेकिन जब उनकी स्टडी पूरी हो जाती है तो वे एक साथ समूह में निवेश करते हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की जापान के प्रधानमंत्री सिन्जो आबे से व्यक्तिगत निकटता है। इसका लाभ मप्र को मिल सकता है।
टोंग ने कहा कि आने वाले समय में चीन में युवाओं की संख्या में तेजी से कमी आएगी। वहीं भारत में युवाओं की निरंतरता बनी रहेगी। ऐसे में भारत ग्लोबल मैन्यूफैक्चरर बन सकता है। उन्होंने मुख्यमंत्री से कहा कि मप्र के एक्सपर्ट का एक दल सिंगापुर भेजें, उन्हें हम शहरों के आधुनिक विकास का प्रशिक्षण देंगे।