मोदी सरकार का स्टैंड संघ तय करेगा भोपाल में
भोपाल [ब्यूरो]। नरेंद्र मोदी सरकार का स्टैंड सामाजिक, राजनीतिक और आर्थिक मुद्दों पर क्या होगा, इस पर चिंतन करने के लिए राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की चार दिवसीय बैठक गुरुवार को भोपाल में शुरू हो रही है। इसमें संघ प्रमुख मोहन भागवत सहित देश भर के प्रचारक-विचारक और आनुषांगिक संगठनों के शीर्ष पदाधिकारी मौजूद रहेंगे। इस तरह की संघ की बैठक साल में एक बार होती है।
बैठक 31 जुलाई को प्रारम्भ होगी और 3 अगस्त तक चलेगी और इसमें कश्मीर समस्या, बांग्लादेशी घुसपैठ, चीन मामले में अब तक का ख, पाकिस्तान और आतंकवाद, समान नागरिक संहिता सहित आर्थिक नीतियों और महत्वपूर्ण राजनीतिक मसलों पर न सिर्फ चर्चा होगी बल्कि संघ की वैचारिक-सांस्कृतिक सोच के साथ मोदी सरकार को संघ की लाइन भी दी जाएगी।
सरकार के साथ तालमेल
संघ के सूत्र भी इस बैठक को महत्वपूर्ण मान रहे हैं क्योंकि इसमें संघ और मोदी सरकार के बीच मुद्दों पर तालमेल तय होगा। एनडीए की अटल सरकार के कार्यकाल में जब संघ और सरकार के बीच विभिन्न मुद्दों पर अलगाव पैदा हुआ था तो उसका मूल कारण संघ की वैचारिक सोच के खिलाफ सरकार का कामकाज था।
संघ के फैसलों पर अमल न करने के चलते ही दत्तोपंत ठेंगड़ी ने अटल सरकार के खिलाफ एक तरह से संघर्ष छेड़ दिया था। संघ, अटल सरकार की आर्थिक नीतियों से भी सहमत नहीं था। संघ का मानना है कि तब गठबंधन सरकार थी तो बाध्यता थी लेकिन अब परिस्थितियां बदल गई हैं।
केंद्रीय टोली की बैठक भी
चिंतन बैठक के दौरान एक दिन संघ के कोर ग्रुप केंद्रीय टोली की भी बैठक होगी । इसमें संघ प्रमुख के अलावा शीर्ष पदाधिकारी सर कार्यवाह भैयाजी जोशी, सुरेश सोनी, कृष्णगोपाल, दत्तात्रेय हौसबोले सहित लगभग 11 लोग मौजूद रहेंगे।