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आ‌र्ट्स में एडमिशन से खुलेंगे कॅरियर विकल्प

स्टूडेंट यदि अपनी रुचि के अनुसार विषय का चयन करता है तो कामयाबी की इबारत लिख सकता है। 10+2 उत्तीर्ण होने के बाद ऐसी स्टेज आती है जब स्टूडेंट्स स्ट्रीम चयन को लेकर असमंजस की स्थिति में होता है।

By Edited By: Published: Wed, 18 Jan 2012 03:38 PM (IST)Updated: Wed, 18 Jan 2012 12:00 AM (IST)
आ‌र्ट्स में एडमिशन से खुलेंगे कॅरियर विकल्प

स्टूडेंट यदि अपनी रुचि के अनुसार विषय का चयन करता है तो कामयाबी की इबारत लिख सकता है।10+2 उत्तीर्ण होने के बाद ऐसी स्टेज आती है जब स्टूडेंट्स स्ट्रीम चयन को लेकर असमंजस की स्थिति में होता है। उनके समक्ष दुविधा रहती है कि ग्रेजुएशन करे या फिर प्रोफेशनल कोर्स। यदि पहले से लक्ष्य निर्धारित होता है तो उसे आगे बढने में अधिक परेशानी नहीं होती है। टीचिंग, लॉ जैसे तमाम कोर्स कॅरियर के रूप में चयन कर सकते हैं। जो स्टूडेंट अधिक प्रतिभाशाली हैं, उन्हें स्नातक और स्नातकोत्तर की और बढना चाहिए। कला के छात्रों के लिए अर्थशास्त्र, हिन्दी, अंग्रेजी, भूगोल, विधि, समाजशास्त्र, राजनीतिविज्ञान मनोविज्ञान आदि में कॅरियर की अपार संभावनाए हैं।

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कॅरियर प्लानिंग का राइट टाइम

स्टूडेंट के पास 10+2 के बाद कॅरियर प्लानिंग का राइट टाइम होता है। इसके बाद स्टूडेंट जो भी सब्जेक्ट चुनें, उस पर पहले अच्छी तरह विचार कर लें कि उसे सिविल सर्विसेज में जाना है या फिर राजनीति में या फिर अन्य फील्ड में। उसी के अनुरूप सब्जेक्ट का चयन करे।

पॉकेट पर रखें नजर

एडमिशन लेने से पहले अपने अभिभावकों की पॉकेट का आकलन कर लें कि वह कितना खर्च कर पाएंगे। यदि आप ऐसी स्ट्रेटेजी के बाद एडमिशन लेते हैं तो पढाई के दौरान फाइनेंसियल प्रॉब्लम आडे नहीं आएगी।

किन बातों का रखें ध्यान

कॅरियर प्लान करते हुए अपनी फील्ड से जुडी सभी छोटी बडी बातों पर ध्यान दें। जॉब से जुडी डिटेल्स और जरूरतों को समझना, उस फील्ड से जुडे आधुनिक बदलाव,अवसरों आदि के बारे में सही समझ आपको शिखर की सफलता दिला सकती है। परिवर्तन जिंदगी का अंग है। जिंदगी में सब कुछ बदलता है। हमारी पसंद और नपसंद भी। अगर कॅरियर आपकी पसंदीदा चीजों की लिस्ट में आता है, तो आप सही ट्रैक में चल रहे हैं। यदि आपकी जॉब एक्टिविटीज नापसंद चीजों की लिस्ट में आती है तो फिर से प्लॉनिंग अवश्य करें।

हर बिन्दु महत्वपूर्ण

बेहतर संस्थान के लिए होम सिकनेस से बचें।

अच्छे संस्थानों की सूची देखकर फिर संस्थान की पडताल करके संस्थान चयन करें।

स्टूडेंट रुचि वाले संस्थान में ही प्रवेश को वरीयता दें।

स्कूल के पूर्व परिणामों का आकलन करना न भूलें।

स्कूल से जुडी फैकल्टी को जरूर जानें।

स्कूल के मैनेजमेंट के बारे में पडताल जरूर कर लें।

प्लेसमेंट के बारे में जरूर जानकारी कर लें

जोश डेस्क


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