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विद्यार्थी देश की नींव हैं: लक्ष्मी बहन

झुमरीतिलैया (कोडरमा): विद्यार्थी हमारे देश की नींव हैं। आज हर व्यक्ति नकारात्मक सोचता है। जैसा वह सो

By Edited By: Published: Sun, 04 Dec 2016 08:05 PM (IST)Updated: Sun, 04 Dec 2016 08:05 PM (IST)
विद्यार्थी देश की नींव हैं: लक्ष्मी बहन

झुमरीतिलैया (कोडरमा): विद्यार्थी हमारे देश की नींव हैं। आज हर व्यक्ति नकारात्मक सोचता है। जैसा वह सोचता है वैसा ही बन जाता है। महान बनने के लिए हमें महान कार्य करना होगा। उक्त बातें रविवार को झुमरीतिलैया के शिवतारा सरस्वती विद्या मंदिर में आयोजित बालक-बालिका व्यक्तित्व विकास वर्ग के आयोजन को संबोधित करते हुए ब्रह्मा कुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय की लक्ष्मी बहन ने कही। उन्होंने कहा कि आत्मा शरीर के दो आंखों के बीच निवास करती है। आंख देखने का कार्य करती है व कान सुनने का कार्य करता है। आत्मा माइक व लाइट है। आत्मा व परमात्मा का स्वरूप एक ही है। वहीं ब्रह्म कुमारी कुसुम बहन ने कहा कि विद्यार्थियों में नैतिक मूल्यों की स्थापना होनी चाहिए। आज विद्यार्थी पढ़-लिखकर बड़े-बड़े पदों पर नियुक्ति होते तो हैं परंतु देश में आज भी आतंकवाद, अन्याय, भ्रष्टाचार क्रियाएं देश को कमजोर कर रही है। उन्होंने कहा कि बच्चों को श्रेष्ठ संकल्प करने की जरूरत है। विद्यालय के सचिव रामरतन महर्षि ने विद्यार्थियों को व्यक्तित्व विकास कैसे करें इसके बारे में जानकारी दी। विद्यालय के प्रधानाचार्य रंजीत ¨सह ने विषय प्रवेश करवाया। वहीं आचार्य शंकर गोपाल ने

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अतिथियों का परिचय करवाया।

छात्रों को दी मेंटल हेल्थ की दी जानकारी

झुमरीतिलैया: बालक-बालिका व्यक्तित्व विकास वर्ग के दूसरे सत्र में योग प्रशिक्षक प्रदीप कुमार सुमन ने योग के बारे में जानकारी दी तथा स्वदेशी सामानों को अपनाने पर बल दिया। उन्होंने अनुलोम-विलोम, कपाल भाति, सूर्य नमस्कार समेत कई योग क्रिया के बारे में छात्रों को जानकारी दी। उन्होंने कहा कि हमारा शरीर दो भागों में बंटा है। पहला हार्डवेयर तथा दूसरा शाफ्टवेयर। हमारे शरीर में 72 करोड़ से अधिक नस-नाड़ियों से बना है। योग करने से शरीर को ऑक्सीजन मिल जाता है जिससे पूरे दिन का कार्य सही ढंग से होता है। वहीं डॉ. अभिजीत राय ने स्वावलंबन के बारे में जानकारी दी। ठंड के दिनों में नीम के साबुन का प्रयोग करने की बात कही । आंखों को ठीक रखने के लिए ताजा फल, हरी सब्जियां खाना चाहिए। करेला खाने से बोली मीठी होती है। गाजर व सेव खाने पर भी जोर दिया। डॉ. लूना मित्रा ने भी छात्राओं को कई जानकारी दी। कार्यक्रम का संचालन आचार्य शंकर गोपाल ने किया। इस अवसर पर रंगनाथ पाठक, हरिशंकर प्रसाद, अमर डे, राजेश्वर ¨सह, उमेश कुमार, आनंद प्रकाश, प्रभात कुमार, आनंद कुमार सिन्हा, अरुण कुमार, सिद्धि प्रसाद, संजय कुमार, ब्रजेश आनंद, कृष्णचंद कन्हैया, रबिता उपाध्याय, रूबिता सिन्हा, श्वेता सिन्हा, दीपाली कुमारी, नीतू कुमारी, अल्पा कुमारी आदि उपस्थित थे। कार्यक्रम का समापन राष्ट्रीय गीत के साथ हुआ।


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