अकीदत के साथ पढ़ी गई ईद की नमाज, दी गई बधाई
खूंटी :अकीदत और इमामत के साथ पढ़ी और पढ़ाई गई नमाज के साथ ही सोमवार को ईद का पर्व हंसी-खुशी के साथ
खूंटी :अकीदत और इमामत के साथ पढ़ी और पढ़ाई गई नमाज के साथ ही सोमवार को ईद का पर्व हंसी-खुशी के साथ संपन्न हो गया। एक माह तक रखे गए साधनापूर्ण रोजा, अल्लाह से रहमत की कामना, अमन व चैन की मागी गई दुआ के पूर्ण होने से मिली खुशी को मुस्लिम भाइयों ने एक दूसरे से गले मिलकर और हाथ मिलाकर ईद त्योहार की बधाई व शुभकामनाएं दी। गले मिलने के समय सबके चेहरे पर तैर रही खुशियां पर्व के उद्देश्य व महत्व को साकार कर रही थी। नए कपड़े पहने, सिर पर टोपी लगाए और आखों पर सूरमा से सबके चेहरे खिल रहे थे। गले मिलन ने अमीर, गरीबी, ऊंच, नीच, छोटा, बड़ा, मालिक व मजदूर की दीवारों को ढहा दिया। सामाजिक बराबरी का स्पष्ट संदेश दिया। समतामूलक समाज के स्वरूप को प्रदर्शित किया इस ईद पर्व ने। गले मिलने की बेताबी हर चेहरे पर दिखी। गिला, शिकवा दूर कर प्रेम, शाति, भाईचारा और सद्भाव की सदियों से चली आ रही परिकल्पना पूर्ण परंपरा को मूर्त रूप देता हुआ दिखाई पड़ा खूंटी के इस छोटे शहर में।
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यहां-यहां पढ़ी गई ईद की नमाज
सोमवार की सुबह से खूंटी शहर की तीन मस्जिदों में चार पालियों में ईद की नमाज पढ़ी गई। नमाज की इमामत मौलवियों ने किया और ईद के महत्व पर प्रकाश डाला। ईद मनाने की परंपरा और इसके पैगाम पर विस्तार से प्रकाश डालते हुए बताया गया कि अमन, चैन, भाईचारा व परस्पर प्रेम के साथ रहते हुए तरक्की करना ही पैगंबर मोहम्मद और इस्लाम का उद्देश्य तथा ईद पर्व का संदेश है। हम वतन की तरक्की और शाति के अ आलंवरदार हैं। यही तो ईद मनाने, शरीर, मन, विचार और व्यवहार में सहृदयता दिखाना हमारी पारंपरिक खासियत रही है। हर जरूरतमंद की मदद कर उनके चेहरे पर हंसी लाना, उनके घरों में खुशियों का दीप जलाना हमारा उसूल रहा है। सुबह नौ बजे जामा मस्जिद में पढ़ी गई नमाज की इमामत मौलाना मो. जमालुद्दीन कालमी, जन्नत नगर की मदीना मस्जिद में पढ़ाई गई ईद की इमामत मुफ्ती मो. अयाज खान ने, तीसरे मस्जिद में पढ़ाई गई नमाज की इमामत हाफिज मो. साजिद ने किया। पूरे शहर के जो रोजेदार और मुस्लिम धर्मावलंबी तीनों पालियों में नमाज नहीं पढ़ सके थे, उन सभी के लिए कर्रा रोड की जामा मस्जिद में नमाज अदा कराने का काम कारी मो. जाहिदुल्ला ने किया। इसके अलावा सिल्दा, मुरहू आदि मस्जिदों में भी ईद की नमाज पढ़ी गई।
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गरीबों को दान देने की लगी थी होड़
जिस समय मस्जिदों में ईद की नमाज खत्म हुई उस समय मस्जिद के बाहर बैठे गरीब और असहायों को रुपये और सिक्के देने की होड़ लगी थी। इस्लाम धर्मावलंबियों का मानना है कि अल्लाह की इबादत कर गरीब, असहाय और जरूरतमंदों की मदद करने से बरकत होती है। इसीलिए लोग नमाज पढ़ने जाने के पहले गरीबों को सहायतार्थ दी जाने वाली राशि अपनी जेब में डालना नहीं भूलते हैं।
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हर मस्जिद और चौराहों पर थी सुरक्षा की व्यवस्था
जिला प्रशासन सुरक्षा को लेकर रविवार की शाम से ही चौकस था। हर संवेदनशील स्थानों, चौक, चौराहों और मस्जिदों के समीप दंडाधिकारी के नेतृत्व में पर्याप्त पुलिस बल को तैनात किया गया था। समाहरणालय में स्थापित नियंत्रण कक्ष पल-पल की जानकारी ले रहा था। एसडीओ प्रणव कुमार पाल और एसडीपीओ खुद मोबाइल पर थे। शातिपूर्व ईद पर्व के मन जाने पर जिला प्रशासन ने राहत की सास ली।
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सभी ने दी ईद की बधाई
भाजपा नेताओं ने मुस्लिम भाईयों को ईद पर्व की बधाई दी है। बधाई देने वालों में ग्रामीण विकास मंत्री नीलकंठ सिंह मुंडा, जिला भाजपा के अध्यक्ष काशीनाथ महतो, जिला बीस सूत्री उपाध्यक्ष ओमप्रकाश कश्यप, जिला भाजपा महामंत्री विनोद नाग, मंत्री योगेंद्र नायक, लीलू पहान, जिला भाजयुमो के अध्यक्ष अनूप साहु, उपाध्यक्ष नकुल भगत, महामंत्री आनंद राम, नगर भाजपा अध्यक्ष सुरेश जायसवाल, शकर प्रधान, करमा राम, राजू गुप्ता, कंचन सिंह, जगदीश गौंझू, काग्रेस नेता सयूम अंसारी, झामुमो नेता सुनील चौधरी, जिला झाविमो अध्यक्ष दिलीप मिश्रा, झापा अध्यक्ष सीरिल हंस, अर्पणा हंस व महामंत्री योगेश वर्मा आदि के नाम शामिल हैं।
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