टीएफए के खिलाड़ियों को दौड़ा-दौड़ा कर पीटा
जागरण संवाददाता, जमशेदपुर : जेआरडी टाटा स्पोर्ट्स कांप्लेक्स में चल रहे अंडर-1
जागरण संवाददाता, जमशेदपुर : जेआरडी टाटा स्पोर्ट्स कांप्लेक्स में चल रहे अंडर-18 आइ लीग में रविवार को फुटबॉल का मैदान रणभूमि में तब्दील हो गया। अंतिम क्षण में रेफरी के फैसले पर असहमति जाहिर करते हुए नॉर्थ ईस्टर्न री ऑर्गेनाइजिंग कल्चरल एसोसिएशन (नरोका) ने जिस तरह का कोहराम मचाया, वह इस खेल को शर्मसार कर गया। खिलाड़ी तो खिलाड़ी, कोच व मैनेजर भी मैदान पर उतरकर विरोधी खिलाड़ी को पीटने लगे। हालांकि मैच कमिश्नर ने इसकी शिकायत आइ लीग प्रबंधन को कर दी है।
मध्यांतर के पहले ही नरोका ने बढ़त बना ली थी। मध्यांतर के बाद टाटा फुटबॉल एकेडमी ने पूरा जोर लगाया, लेकिन उसे सफलता नहीं मिल पा रही थी। नीयत समय तक भी उसे सफलता नहीं मिली लेकिन नरोका के खिलाड़ी एस शैलेश की एक चूक ने टीएफए की किस्मत पलट दी। खेल के 90वें मिनट में नरोका के डी बॉक्स के अंदर एस शैलेश सिंह से हैंडबॉल हो गया। रेफरी ने तनिक भी देरी किए टीएफए को पेनाल्टी का अवसर दे दिया। गोलकीपर किशन सिंह ने मोर्चा संभाला। उधर, टीएफए के कप्तान विजय सिंह ने गेंद शुभम घोष की ओर बढ़ाया। शुभम ने लक्ष्य पर निशाना साधते हुए शॉट जमाया। गेंद गोलकीपर किशन सिंह के हाथों से छिटककर गोलपोस्ट में टकराते हुए जैसे ही मैदान में गिरने वाली थी, तभी शुभम सिंह ने अपनी चपलता का परिचय देते हुए हेडर लगाया और गेंद गोल जाल में समा गया। नियम के अनुसार यह सही था। अंक हाथ से छूटता देख नरोका का टीम प्रबंधन आपा खो बैठा। प्रबंधन के सदस्य बाहर से खिलाड़ियों को उकसाने लगे। बस क्या था, नरोका ने एक साथ टीएफए के खिलाड़ियों पर हमला बोल दिया। इस बीच टीम के कोच व प्रबंधन ने भी उनका साथ दिया। इस बीच टीएफए के गोलकीपर रफीक के माथे से खून बहने लगा, वहीं गोल करने वाले शुभम व राकेश भी घायल हो गए। नरोका के खिलाड़ी यहीं नहीं रूके। ड्रेसिंग रूम में जाकर भी खूब उत्पात मचाया। कुर्सियां तोड़ दी। पानी के बोतल फेंक दिए। वहीं टेबल पर रखे नाश्ता का पैकेट को तितर-बितर कर दिया।
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दोनों टीमों के लिए अहम था मुकाबला
सोमवार को नरोका व टीएफए के बीच अहम मुकाबला था। अंक तालिका में टीएफए के 11 अंक थे, वहीं नरोका के दस अंक। इस जीत के साथ नरोका शीर्ष पर पहुंच जाती। वहीं टीएफए अंक तालिका में अपनी शीर्ष पर बने रहने की कोशिश कर रहा था।
शुरू से ही नरोका की टीम आक्रामक नजर आ रही थी। खेल के 38वें मिनट में शैलेश सिंह ने शानदार गोल कर टीएफए को हतप्रभ कर दिया था। इस बीच 75वें मिनट में नरोका के नाओचा व टीएफए के शुभम सिंह आपस में भिड़ गए। बाद में रेफरी ने पीला कार्ड दिखाकर दोनों को शांत किया।
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शुक्रवार को भी रेफरी से भिड़ गए थे नरोका के खिलाड़ी
नरोका के खिलाड़ियों ने शुक्रवार को प्राइड स्पोर्ट्स मैनेजमेंट की टीम के साथ मारपीट की थी। नरोका ने प्राइड स्पोर्ट्स मैनेजमेंट को 2-1 से हराया था, लेकिन एक पेनाल्टी को लेकर खिलाड़ियों द्वारा रेफरी के साथ बदसलूकी की गई थी। जिस समय यह घटना हुई थी, नरोका की टीम 2-1 से बढ़त बनाए हुई थी और मैच का अतिरिक्त समय (94वें मिनट) चल रहा था। इसी बीच प्राइड स्पोर्ट्स के खिलाड़ियों ने शानदार मूव बनाते हुए डी बॉक्स के भीतर प्रवेश कर लिया, तभी नेरोका के डिफेंडर लैशराम रॉकी सिंह ने गेंद लेकर आगे बढ़ रहे प्राइड स्पोर्ट्स के खिलाड़ी को पीछे से धक्का देकर गिरा दिया। इस पर लोहरदगा के रेफरी रोशन मुंडा ने रॉकी सिंह को पीला कार्ड दिखाते हुए जैसे ही पेनाल्टी की ओर इशारा किया, रॉकी सिंह समेत कुछ अन्य खिलाड़ी रेफरी से भिड़ गये। नरोका के खिलाड़ी रेफरी को नुकसान पहुंचाते इससे पहले दोनों सहायक रेफरी मैदान के भीतर पहुंचकर मुख्य रेफरी रोशन मुंडा को
नेरोका के डिफेंडर रॉकी सिंह को 55वें मिनट में भी फाउल खेलने को लेकर पीला कार्ड दिखाया गया था, इसलिए दूसरा पीला कार्ड के बाद रेफरी रोशन मुंडा ने उसे लाल कार्ड दिखाकर मैदान से बाहर जाने का निर्देश दे दिया।
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