517 बूथ पर होगी जोर-आजमाइश
जागरण संवाददाता, गिरिडीह : लगभग डेढ़ माह के चुनावी शोर के बाद गुरुवार को अंतत: जनता के फैसले का वक्त आ ही गया। गिरिडीह लोस क्षेत्र के अधीन जिले के 517 बूथ में निर्वाचन आयोग की अभूतपूर्व तैयारी के साथ गुरुवार को जनता जनार्दन इस सीट के 17 प्रत्याशियों की कड़ी परीक्षा लेने के लिए अपने-अपने घरों से बूथों की ओर कूच करेंगे।
गिरिडीह लोस सीट के लिए अपनी किस्मत आजमा रहे 17 प्रत्याशियों में से तीन प्रत्याशी इस जिले के निवासी है। इनमें झाविमो के डॉ. सबा अहमद, निर्दल शिवा महतो और फाब्ला के संजीव कुमार सिन्हा शामिल हैं। चुनावी संघर्ष में शामिल शेष प्रत्याशी बोकारो और धनबाद जिले से आते हैं। निवर्तमान सांसद रवींद्र पांडेय इस बार भाजपा प्रत्याशी के रूप में पांचवीं बार बाजी मारने के लिए मैदान में हैं। वहीं यूपीए के साझा उम्मीदवार के रूप में डुमरी के झामुमो विधायक जगरनाथ महतो, जेवीएम के डॉ. अहमद, जदयू के जलेश्वर महतो, आजसू के डॉ यूसी मेहता और आप के गुरजीत सिंह की दावेदारी ने मुकाबले को दिलचस्प बना दिया है।
गिरिडीह जिले के तीन प्रखंड उक्त संसदीय सीट के निर्वाचन क्षेत्र हैं। इनमें गिरिडीह, पीरटांड़ और डुमरी प्रखंड शामिल है। इन तीन प्रखंडों में गत चुनाव में भाजपा को झाविमो, कांग्रेस, झामुमो की ओर से कड़ी टक्कर दी गयी थी। इस बार कांग्रेस का समर्थन झामुमो प्रत्याशी को है। यह भाजपा के लिए चिंता का सबब है। मतों के विभाजन का लाभ लेकर बीते चार चुनावों में जीत का डंका बजाने वाले भाजपा के रवींद्र पांडेय इस बार परिस्थितियों को अपने अनुकूल बनाने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ना चाहते हैं।
आयोग ने जिले के अधिकांश बूथ को संवेदनशील करार देते हुए वहां सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए हैं। मंगलवार को ही जिला मुख्यालय से हेलिकॉप्टर के माध्यम से नक्सल प्रभावित क्षेत्र के निर्वाचन कलस्टरों में चुनाव कर्मियों को इवीएम के साथ रवाना किया गया था। कलस्टरों व संवेदनशील बूथों में अर्ध सैनिक बलों की पर्याप्त तैनाती का दावा किया गया है। लिहाजा बूथ कैप्चरिंग और बोगस वोटिंग प्रत्याशियों के समर्थकों के लिए सपना ही बनेगा।