Move to Jagran APP

सरकारी स्कूलों में धूल फांक रहे कंप्यूटर

By Edited By: Published: Thu, 17 Apr 2014 11:22 PM (IST)Updated: Thu, 17 Apr 2014 11:22 PM (IST)
सरकारी स्कूलों में धूल फांक रहे कंप्यूटर

गढ़वा : वर्तमान के आधुनिक परिवेश में कंप्यूटर का मानव जीवन में महत्वपूर्ण योगदान है। कहा जाता है कंप्यूटर शिक्षा के बगैर पढ़ाई अधूरा है। सरकार विद्यालयों में बच्चों की ठहराव के लिए मध्याह्न भोजन जैसी योजना चला रही है। इतना ही नही करोड़ों रुपये की लागत से विद्यालय भवन, शौचालय भी बनवा रही है। मगर सरकारी स्कूलों में अध्ययनरत इन बच्चों को कंप्यूटर की शिक्षा मिले इस दिशा में ठोस पहल नहीं की जा सकी है।

loksabha election banner

जिले के मध्य विद्यालयों तथा कस्तूरबा गांधी विद्यालय में कंप्यूटर शिक्षा नही दी जा रही है। सरकारी विद्यालयों के बच्चे कंप्यूटर शिक्षा से महरूम हैं। जिले के आठ मध्य विद्यालय तथा 14 कस्तूरबा गांधी में कंप्यूटर दिया गया था जो फिलहाल धूल फांक रहा है।

जानकारी के अनुसार राज्य सरकार द्वारा वर्ष 2005 से 2010 तक जिले के आठ मध्य विद्यालय तथा 14 कस्तूरबा विद्यालय में किया 5-5 कंप्यूटर की व्यवस्था कराई गई थी। मध्य विद्यालय में एब्रॉन नामक कंपनी तथा कस्तूरबा विद्यालय में एडुकॉम नामक कंपनी को विद्यालयों में कंप्यूटर शिक्षा के संचालन की जिम्मेदारी दी गई थी। कंपनी के द्वारा ना सिर्फ कंप्यूटर की सप्लाई किया गया साथ ही एकरारनामा के अनुसार कंप्यूटर की रिपेयरिंग तथा कंप्यूटर शिक्षक की भी व्यवस्था कंपनी करेगी। पांच वर्ष के एकरारनामा समाप्त होने के बाद कंपनी के शिक्षक चलते बने। इनके जाने के बाद से कंप्यूटर जीर्ण र्शीर्ण अवस्था में विद्यालय में धूल फांक रहा है। जानकारी के अनुसार वर्ष 2012-13 में प्रत्येक विद्यालय को कंप्यूटर रिपेयरिंग के लिए 10-10 हजार रुपये दिए गए थे। मगर कंप्यूटर की क्वालिटी खराब होने के कारण 10 हजार रुपये महज ऊंट के मुंह में जीरा साबित हुए।

- जिन विद्यालयों में दिया गया था कंप्यूटर

जिला मुख्यालय स्थित डीएवी मध्य विद्यालय, शालीग्राम मध्य विद्यालय, रमना के सिलीदाग-वन मध्य विद्यालय, बालक मध्य विद्यालय नगर उंटारी, बुनियादी मध्य विद्यालय रंका, मध्य विद्यालय मझिआंव तथा मध्य विद्यालय मोरबे सहित 14 कस्तूरबा गांधी विद्यालयों में कंप्यूटर की व्यवस्था किया गया था।

-----------------

परियोजना के स्तर से कंप्यूटर शिक्षा के लिए जिस कंपनी के साथ एकरारनामा किया गया था। उसकी अवधि समाप्त हो चुकी है, अवधि विस्तार नहीं होने के कारण बच्चों को अभी कंप्यूटर की शिक्षा नहीं दी जा रही है।

अरविंद कुमार, जिला शिक्षा अधीक्षक, गढ़वा।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.